Vasundhara Raje On Son Speech Says I Can Retire Now At Rajasthan Rally: राजस्थान में विधानसभा चुनाव तेजी से मतदान की तरफ बढ़ रहा है। इस बीच अपने नामांकन से एक दिन पहले पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने राजनीति से संन्यास लेने का संकेत देकर नई चर्चा छेड़ दी है। झालावाड़ की रैली में राजे ने अपने सांसद बेटे दुष्यंत का भाषण सुनने के बाद कहा, ‘मेरे बेटे की बात सुनने के बाद मुझे लगता है कि अब रिटायरमेंट ले लेना चाहिए।’ वसुंधरा राजे को अक्सर राजस्थान में मुख्यमंत्री पद का आकांक्षी के रूप में देखा जाता है। ऐसे में उनके इस बयान ने सियासी हल्के में नई चर्चाएं तेज कर दी है।
आज नामांकन दाखिल करेंगी वसुंधरा
वसुंधरा राजे नामांकन दाखिल करने के लिए निकल चुकी हैं। उनका सबसे पहले राड़ी के बालाजी दर्शन-पूजन, उसके बाद मनसा पूर्ण हनुमान जी के दर्शन-पूजन का कार्यक्रम है। दोपहर डेढ़ बजे राजे नामांकन दाखिल करेंगी। यहां 25 नवंबर को चुनाव होगा। वहीं, उनके बेटे दुष्यंत लोकसभा में झालावाड़-बारां का प्रतिनिधित्व करते हैं।
आप सभी ने बेटे को अच्छे से सिखाया
वसुंधरा राजे ने रैली में कहा कि अब मैं रिटायर हो सकती हूं। आप सभी ने उसे अच्छे से प्रशिक्षित किया है। मुझे उसे आगे बढ़ाने की जरूरत नहीं है। सभी विधायक यहां मौजूद हैं। मुझे लगता है कि उन पर नजर रखने की जरूरत नहीं है। वे इस पोजिशन में आ गए हैं कि वे अपने दम पर लोगों के लिए काम करेंगे।
"अब मैं रिटायर हो सकती हूं, मेरे बेटे दुष्यंत को आप लोगों ने सिखा दिया है, अब मुझे कुछ करने की ज़रूरत नहीं है"
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— News24 (@news24tvchannel) November 4, 2023
लोग पूछते हैं- झालावाड़ कहां है?
वसुंधरा राजे ने कहा कि ये मेरा 10वां नामांकन है। पहला नामांकन 1989 में सांसदी के लिए भरा था। लगातार पांच बार सांसद और चार बार विधायक चुनी गई। उन्होंने सड़कों, पेयजल परियोजनाओं, हवाई और रेल कनेक्टिविटी का जिक्र करते हुए कहा कि आज लोग पूछते हैं कि झालावाड़ कहां है। लोग यहां निवेश करना चाहते हैं।
रैली में राजे ने पेपर लीक की घटनाओं और बेरोजगारी जैसे मुद्दों पर राज्य में कांग्रेस सरकार पर हमला करते हुए कहा कि राजस्थान तभी फिर से नंबर एक राज्य बनेगा जब लोग भाजपा को आगे ले जाने के लिए काम करेंगे।
वसुंधरा के बयान के क्या हैं मायने?
वसुंधरा राजे के बयान का मतलब समझें, उससे पहले एक पुरानी घटना का जिक्र करना जरूरी है। बात ज्यादा पुरानी नहीं है। अक्टूबर के पहले हफ्ते में पीएम मोदी जोधपुर के दौरे पर थे। इस दौरान पीएम नरेंद्र मोदी और पूर्व सीएम वसुंधरा राजे के बीच दूरियां नजर आईं। जयपुर, चित्तौड़गढ़ के बाद यह तीसरा वाकया था, जब पीएम ने राजे को कोई तवज्जो नहीं दी। इससे सियासी हल्के में संदेश गया कि भाजपा राजस्थान में वसुंधरा राजे को साइडलाइन करते हुए चुनाव लड़ना चाहती है।
यही वजह है कि राजस्थान में सीएम फेस कौन है, यह तय नहीं किया गया है। साफ संदेश दिया गया है कि राजस्थान में बीजेपी का चेहरा केवल कमल का फूल है।
वसुंधरा राजे का नामांकन से पहले अपनी रिटायरमेंट को लेकर संकेत देना काफी गंभीर माना जा रहा है। चर्चा है कि वसुंधरा राजे झालावाड़-बारां से सांसद बेटे दुष्यंत सिंह को अपनी राजनीतिक विरासत सौंपना चाहती हैं। इसलिए उन्होंने भरी सभा में बेटे की तारीफ की। उन नेताओं की तारीफ की जो सांसद बेटे या उनके समर्थक हैं। माना यह भी जा रहा है कि वसुंधरा राजे ने झालावाड़ की जनता के सामने इमोशनल कार्ड खेला है। वसुंधरा के बेटे दुष्यंत चार बार के सांसद हैं।
25 को मतदान, 3 को गणना
राजस्थान में 200 सदस्यीय विधानसभा सीट के लिए चुनाव हो रहे हैं। 25 को मतदान और मतों की गिनती 3 दिसंबर को होगी।
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