राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने अदालत में 2024 के चंडीगढ़ ग्रेनेड हमले मामले में चार्जशीट दाखिल कर दी, जिसमें चौंकाने वाला खुलासा हुआ। पाकिस्तान और अमेरिका में बैठे आतंकियों ने इस घटना को अंजाम दिया। एनआईए की चार्जशीट में पाकिस्तान में स्थित हरविंदर सिंह संधू उर्फ रिंदा और अमेरिका के हरप्रीत सिंह उर्फ हैप्पी पासिया का नाम है। ये दोनों आतंकवादी चंडीगढ़ हमले के हैंडलर और साजिशकर्ता थे।
एमआईए ने आतंकवादी संगठन बब्बर खालसा इंटरनेशनल (BKI) के चार आतंकवादी गुर्गों के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया। आतंकी रिंदा और हैप्पी पासिया ने ग्रेनेड हमले को अंजाम देने के लिए चंडीगढ़ में भारत स्थित ऑन ग्राउंड ऑपरेटर्स को आतंकी फंड, हथियार और गोला-बारूद उपलब्ध कराया था। सितंबर 2024 के हमले का मकसद पंजाब पुलिस के एक रिटायर्ड अधिकारी को निशाना बनाना था।
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NIA की चार्जशीट में बड़ा खुलासा
एनआईए की चार्जशीट में इस बात का भी जिक्र है कि जांच में पता चला है कि रिंदा ने हैप्पी पासिया के साथ मिलकर ग्रेनेड हमले के माध्यम से कानून प्रवर्तन के अधिकारियों और आम जनता के बीच आतंक फैलाने की साजिश रची थी, जिसका मकसद बीकेआई के आतंकी एजेंडे को बढ़ावा देना था। इसके लिए उन्होंने रोहन मसीह और विशाल मसीह नामक स्थानीय गुर्गों को बीकेआई में शामिल किया था, जिन्हें हमले को अंजाम देने का काम सौंपा गया था।
आतंकियों ने दो बार की थी टारगेट की रेकी
जांच में पता चला कि रिंदा और हैप्पी ने अन्य आरोपियों रोहन मसीह और विशाल मसीह को ग्रेनेड फेंकने से पहले दो बार टारगेट की रेकी करने को कहा था। चंडीगढ़ की विशेष एनआईए अदालत में दाखिल चार्जशीट में चारों आरोपियों पर हमले की योजना बनाने और उसका समर्थन करने में उनकी भूमिका के लिए यूएपीए, विस्फोटक पदार्थ अधिनियम और अन्य संबंधित प्रावधानों की कई धाराएं लगाई गई हैं। एनआईए बीकेआई के गुर्गों को पता लगाने और देश में इसके नेटवर्क को खत्म करने की कोशिश कर रही है।
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