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महाराष्ट्र के ढाई करोड़ लोगों को सरकार का बड़ा तोहफा, अब मुफ्त मिलेगी ये खास सुविधा

Maharashtra Government: महाराष्ट्र के लोगों के लिए राहत भरी खबर है। राज्य सरकार ने सरकारी अस्पतालों में लोगों के लिए मेडिकल टेस्ट और इलाज की सुविधा मुफ्त कर दी है। यह सुविधा 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस से लागू होगी। यह फैसला कैबिनेट की बैठक में लिया गया है। अब 2,418 अस्पतालों पर लोग अपना […]

Edited By : Bhola Sharma | Updated: Aug 4, 2023 17:48
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Maharashtra Government

Maharashtra Government: महाराष्ट्र के लोगों के लिए राहत भरी खबर है। राज्य सरकार ने सरकारी अस्पतालों में लोगों के लिए मेडिकल टेस्ट और इलाज की सुविधा मुफ्त कर दी है। यह सुविधा 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस से लागू होगी। यह फैसला कैबिनेट की बैठक में लिया गया है। अब 2,418 अस्पतालों पर लोग अपना इलाज मुफ्त करा सकेंगे। नासिक और अमरावती में स्थित कैंसर अस्पताल में भी इलाज फ्री होगा। सरकार के इस फैसले से ढाई करोड़ से अधिक लोगों को फायदा मिलेगा।

हालांकि, सरकार का निर्णय चिकित्सा शिक्षा विभाग के अंतर्गत आने वाले अस्पतालों और मेडिकल कॉलेजों पर लागू नहीं होगा।

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इस नियम के तहत कैबिनेट ने लिया फैसला

महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री तानाजी सावंत ने बताया कि कैबिनेट ने मुफ्त इलाज का फैसला अनुच्छेद 21 के तहत लिया है। यह अनुच्छेद लोगों को स्वास्थ्य के अधिकार की गारंटी देता है।

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Health Minister Dr Tanaji Sawant

राज्य में 23 जिला अस्पताल

महाराष्ट्र में स्वास्थ्य विभाग के अधीन 10780 सब सेंटर, 1906 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (PHC) और 23 डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल हैं।

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25 हजार झुग्गी बस्तियों का होगा कायाकल्प

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने गुरुवार को विधान सभा को बताया कि राज्य सरकार अगले दो महीनों में मुंबई के समुद्र तट के किनारे 25 हजार झुग्गियों के पुनर्विकास को लेकर रिपोर्ट केंद्र को भेजेगी। सीएम शिंदे ने भाजपा विधायक आशीष शेलार के नोटिस का जवाब देते हुए यह घोषणा की।

दरअसल, केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने 6 जनवरी, 2011 को अधिसूचना जारी की थी। इसमें मलिन बस्तियों के पुनर्विकास पर शर्तें रखी गई थीं। कहा गया था कि यदि इन मलिन बस्तियों का पुनर्विकास किया जाना है, तो 51 प्रतिशत लागत हिस्सेदारी राज्य सरकार की होगी।

बाद में केंद्रीय पर्यावरण विभाग ने 18 जनवरी, 2019 को इस अधिसूचना को बदल दिया, लेकिन चूंकि इस अधिसूचना में संरक्षित झोपड़ियों के पुनर्विकास पर अभी भी कोई स्पष्टता नहीं थी, इसलिए राज्य सरकार ने केंद्र को एक पत्र भेजा।

केंद्र ने प्रस्ताव पेश करने का दिया था निर्देश

केंद्र सरकार ने इस संबंध में प्रस्ताव पेश करने का निर्देश दिया। इस बीच, मुंबई के लिए नई विकास योजना तैयार की गई, जिसमें तटीय क्षेत्रों में पार्कों और खेल के मैदानों के लिए आरक्षण किया गया, जिससे उन्हें नो-डेवलपमेंट जोन में बदल दिया गया। परिणामस्वरूप, इन मलिन बस्तियों के पुनर्विकास की राह और भी कठिन हो गई।

यह भी पढ़ें: मुझे अपना टारगेट क्लियर, मैं जानता हूं क्या करना है, सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर बोले राहुल गांधी

HISTORY

Written By

Bhola Sharma

First published on: Aug 04, 2023 05:44 PM

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