New trend of voting percentage in MP Election(शब्बीर अहमद): मध्य प्रदेश में 17 नवम्बर को विधानसभा चुनाव समाप्त हो चुका है। राज्य में सभी 230 विधानसभा सीटों पर 73.69 फीसदी मतदान हुआ है। वोटिंग के बाद एमपी में वोटर्स का नया ट्रेंड सामने आया है। प्रदेश में पिछले चुनाव की तुलना में डेढ़ फीसदी वोट प्रतिशत बढ़ा है, वहीं 230 सीटों में से 50 सीट पर वोटिंग घटी है।
9 मंत्रियों की सीट पर घटा वोटिंग प्रतिशत
सीएम शिवराज सरकार के 9 मंत्रियों की सीट पर ही वोटिंग घट गई है। मंत्री प्रेम सिंह पटेल, भूपेंद्र सिंह, उषा ठाकुर, रामखेलावन पटेल, मीना सिंह, विश्वास सारंग, राज्यवर्धन सिंह दत्तीगांव, तुलसी सिलावट और जगदीश देवड़ा की सीट पर वोट प्रतिशत घटा है।
बीजेपी की 28 विधायकों की सीट पर वोट प्रतिशत कम हो गया। कांग्रेस की 20 विधायकों सीट पर भी वोटिंग कम हुई। बसपा और एक निर्दलीय विधायक की सीट पर भी वोटिंग प्रतिशत कम दर्ज किया गया। एमपी में ये कुल पचास सीट हैं, जिन पर वोट प्रतिशत घटने से नतीजों को लेकर भी बड़ी उलझन बनी हुई है।
किस करवट बैठेगा ऊंट ?
चुनाव समाप्त होने के बाद प्रदेश की सबसे बड़ी दो पार्टियों भाजपा और कांग्रेस में उलझन बनी हुई है। बीजेपी-कांग्रेस के बागियों ने पार्टी की टेंशन बढ़ा दी है। बागियों से हुए नुकसान का आंकलन में दोनों पार्टियां जुट गई हैं।
करीब 15 सीटों पर बागियों ने पहुंचाया नुकसान
एक आंकलन के अनुसार कांग्रेस, बीजेपी के टिकट नहीं मिलने से नाराज 8 पूर्व विधायकों ने पार्टी छोड़कर निर्दलीय चुनाव लड़ा है। इनमें कांग्रेस के बागी महू से अंतर सिंह दरबार, गोटेगांव से शेखर चौधरी, सिवनी मालवा सेओम रघुवंशी, आलोट से प्रेमचंद गुड्डू, उत्तर से आमिर अकील, नागोद से यादवेंद्र सिंह बीजेपी के बागी अटेर से मुन्ना सिंह भदोरिया, नर्मदापुर से भगवती चौरे, सीधी से केदारनाथ शुक्ला, चाचौड़ा से ममता मीना, बंदा से सुधीर यादव, बुरहानपुर से हर्ष सिंह चौहान, भिंड से राकेश सिंह शामिल हैं।