देवास: मध्यप्रदेश के देवास में बीती रात उज्जैन की लोकायुक्त ने एक ASI को 5 हजार की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ा है। इस कार्रवाई के बाद ASI को सस्पेंड कर दिया गया है।
उज्जैन लोकायुक्त पुलिस ने ट्रेप की कार्रवाई के दौरान ASI से उस चालान डायरी को भी जप्त किया गया जिसका चालान पेश करने की एवज में ASI रिश्वत मांग रहा था। खास बात यह भी है कि लोकायुक्त पुलिस ने सिविल लाइन थाने के ठीक सामने चाय बेचने वाले को भी रिश्वत मामले में आरोपी बनाया है।
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दरअसल, बीती रात देवास की माता टेकरी के धूनी गेट के निकट उज्जैन की लोकायुक्त पुलिस ने एक ASI को 5 हजार की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ धरदबोचा। इसके बाद आरोपी ASI को लोकायुक्त पुलिस सिविल लाइन थाने लेकर पहुंची, जहां से यह पूरा मामला जुड़ा था। इसके बाद लोकायुक्त पुलिस ने यहां बैठकर पूरी कागजी कार्यवाही को अंजाम दिया।
क्या है पूरा मामला
आपको बता दें कि उज्जैन लोकायुक्त SP को फरियादी अनिल फुलेरिया ने एक शिकायत की थी कि मेरे खिलाफ देवास के सिविल लाइन थाने में दर्ज हुए एक केस का चालान काटने/पेश करने की एवज में थाने के ASI प्रकाश राजोरिया द्वारा रिश्वत की मांग की जा रही है।
गुमशुदगी मामले से जुड़ी है घटना
लोकायुक्त पुलिस उज्जैन और ट्रेप कार्यवाही के फरियादी अनिल का कहना था कि मई माह में अनिल की बहन की गुमशुदगी सिविल लाइन पुलिस थाने में दर्ज हुई थी। उसकी बहन मिल भी गई, जिसकी विवेचना ASI प्रकाश राजोरिया द्वारा की गई थी। मामला प्रेम प्रसंग से जुड़ा था।
इसके बाद अनिल फुलेरिया के खिलाफ गुमशुदगी से जुड़े मामले में वाद-विवाद के चलते सिविल लाइन पुलिस थाने में 1 सितंबर को धारा 452,323,504,506,34 IPC में प्रकरण दर्ज किया गया।
इस मामले की विवेचना भी ASI प्रकाश राजोरिया के पास थी और इसी केस का चालान काटने की एवज में ASI के द्वारा रिश्वत की मांग की जा रही थी। लोकायुक्त पुलिस के मुताबिक केस डायरी/चालान की मूल प्रति ट्रेप की कार्रवाई के दौरान ASI के पास से मिली है।
लापरवाही बरतने पर गिरी ASI पर गाज
खास बात यह है कि रिश्वत लेने वाले ASI को SP ने लापरवाही बरतने के एक मामले में 12 सितंबर को ही सस्पेंड कर दिया था तो फिर चालान डायरी 28 सितंबर तक उसके पास कैसे रही ? यह एक बड़ी लापरवाही को उजागर कर रहा है।
वहीं लोकायुक्त पुलिस ने ट्रेप मामले में सिविल लाइन थाने के ठीक सामने स्थित चाय बेचने वाले को भी आरोपी बनाया है क्योंकि लेनदेन की बातचीत में उसकी भी रिकॉर्डिंग है। एक निलंबित ASI का रिश्वत मांगना और उसके पास से थाने के दस्तावेज मिलना। इसके साथ ही थाने के ठीक सामने स्थित चाय वाले को भी लोकायुक्त पुलिस द्वारा आरोपी बनाए जाने के इस मामले ने पुलिसिया कार्यवाही पर सवालियां निशान खड़े कर दिए है
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