Delhi liquor Policy Case: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने राउज एवेन्यू कोर्ट में याचिका दाखिल कर जेल में इंसुलिन देने की मांग की है। वहीं, ईडी ने कोर्ट को बताया कि जेल अथॉरिटी की रिपोर्ट कुछ समय बाद आने वाली है। इसका वेट किया जा रहा है। कोर्ट ने केजरीवाल के वकीलों से याचिका की कॉपी सबको देने को कहा है। कोर्ट ने कहा कि अभी अर्जी के बारे में नहीं पता। इसमें क्या डिमांड की गई है? केजरीवाल की तरफ से उनके वकील अभिषेक मनु सिंघवी पेश हुए। सिंघवी ने कहा कि हमने ईडी को अर्जी की कॉपी दे दी थी। केजरीवाल को 22 साल से डाइबिटीज की प्रॉब्लम है। वे हर दिन इंसुलीन लेते हैं।
…तो क्या आदमी आम भी नहीं खा सकता
वकील ने कहा कि जेल में 48 बार घर का खाना केजरीवाल को मिला है। जिसमें सिर्फ 3 बार आम भेजा गया था। 8 अप्रैल के बाद केजरीवाल को खाने में आम नहीं भेजा गया।
केजरीवाल के वकीलों की तरफ मामले में ईडी के दलील देने पर विरोध जताया गया। कहा कि केजरीवाल इनकी कस्टडी में नहीं हैं, इनको नहीं सुना जाना चाहिए। कोर्ट को जेल से बात करनी चाहिए। ईडी यहां क्या कर रही है। पहले मीडिया को बताते हैं, बाद में यहां आते हैं। क्या आदमी आम भी नहीं खा सकता।
केजरीवाल ने खुद बंद की इंसुलिन
केजरीवाल के वकील ने कहा कि हमने पार्टी नहीं बनाया है, रजिस्ट्री ने पार्टी बनाने के लिए कहा था। केजरीवाल की डाइट को लेकर तिहाड़ जेल ऑथारिटी ने कोर्ट में रिपोर्ट जमा करा दी है। जेल प्रबंधन ने कोर्ट में एम्स की रिपोर्ट का हवाला दिया है। कहा कि घर के पके हुए खाने का इस्तेमाल करें। डाइबिटीज में आम, केले और अंगूर जैसे फल खाने से बचें। जेल अथॉरिटी ने कहा कि जब केजरीवाल को जेल में लाया गया था, तो वे पहले इंसुलिन ले रहे थे। लेकिन बाद में खुद बंद कर दी।
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जेल अथॉरिटी ने कहा कि केजरीवाल को घर से बना खाना देने में कोई शर्त नहीं थी। तय नहीं था कि वे फल या क्या लेंगे। वे डाइट फॉलो नहीं कर रहे हैं, हमें एम्स से भी राय मिली है, इसके मुताबिक उन्हें आम से परहेज करना चाहिए। जेल ऑथारिटी ने कहा कि केजरीवाल को डाइट को फॉलो करना चाहिए, इंसुलिन की कोई जरूरत नहीं है। अगर वह इंसुलिन लेंगे, तो शुगर लेवल काफी कम हो जाएगा।
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एम्स की रिपोर्ट में कहा गया है कि उन्हें आम, चीकू, केला आदि से परहेज करना होगा। बल्कि घर में बने खाने में भी यही डाइट अपनानी होगी। नहीं तो हमको सुझाव देना होगा कि जेल नियमों के अनुसार घर का खाना नहीं दिया जा सकता है। कोर्ट ने याचिकाकर्ता से पूछा कि क्या जो डाइट चार्ट 1 अप्रैल को कोर्ट में जमा किया गया था और जो डाइट चार्ट फॉलो किया गया, वो अलग है। अगर अलग है तो क्या-क्या अलग है।
केजरीवाल को दी गई हैं सुविधाएं
कोर्ट ने केजरीवाल के वकील से कहा कि एक अप्रैल को जब घर से बना खाने की इजाज़त दी गई थी, तो उस समय आपने डाइट चार्ट दिया। यह आपको फॉलो करना चाहिए। आप मुझे अपना डाइट चार्ट और जेल द्वारा दिए गए डाइट चार्ट का तुलनात्मक चार्ट दें। ऐसा लगता है कि उसमें कुछ बदलाव हुआ है। केजरीवाल के वकील ने कहा कि आम और आलू पुरी जैसे मामूली बदलाव की वजह से इंसुलिन के लिए मेरे आवेदन का विरोध नहीं किया जा सकता है।
जेल अथॉरिटी ने केजरीवाल की याचिका पर जवाब दाखिल करने के लिए समय मांगा। जेल अथॉरिटी ने कोर्ट को बताया कि ऐसा नहीं है कि केजरीवाल की सेहत पर नजर नहीं रखी जा रही। जो भी सुविधाएं चाहिए, वह उनको दी गई हैं।