बिहार के सीवान जिले में हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। छत पर कम्बल सुखाने के लिए गई 10वीं कक्षा की छात्रा की बंदर द्वारा धक्का देने की वजह से मौत हो गई। बताया जा रहा है कि छात्रा छत पर थी तभी बंदरों का एक झुंड वाला पहुंच गया। झुंड में आए बंदरों को देखकर लड़की बुरी तरह से घबरा गई और उसने भागने का प्रयास किया। हालांकि, छात्रा को देखकर बंदर उग्र हो गए और उसकी तरफ कूद पड़े। इस बीच एक बंदर द्वारा धक्का दिए जाने की वजह से लड़की छत से नीचे गिर गई। आनन-फानन में घरवाले लड़की को अस्पताल लेकर भागे, लेकिन डॉकटरों ने छात्रा को मृत घोषित कर दिया। इस मामले में नया मोड़ आया है, जिसमें परिजनों ने पोस्टमार्टम कराने से इनकार कर दिया। प्रशासन बंदरों को पड़ने के लिए अभियान चलाने की तैयारी कर रहा है।
बंदर के धक्के से चली गई जान
बताया जा रहा है कि प्रिया कुमार नाम की छात्रा धूप को देखते हुए कम्बल सुखाने के लिए छत पर पहुंची थी। मगर तभी बंदरों का एक झुंड उसी छत पर पहुंच गया। एकसाथ इतने बंदर साथ में देखकर छात्रा घबरा गई और उसने भागने का प्रयास किया। गांव वालों ने लड़की को सीढ़ियों की तरफ भागने की हिदायत दी, लेकिन बंदरों के आक्रामक अंदाज को देखकर सहमी हुई छात्रा ठीक तरह से कुछ भी समझ नहीं सकी।
इस बीच एक बंदर लड़की के ऊपर कूद पड़ा, जिसकी वजह से छात्रा छत से नीचे गिर गई। छत से गिरने की वजह से छात्रा के सिर और शरीर में गंभीर चोटें आईं और उसे तुरंत अस्पताल लेकर जाया गया। हालांकि, हॉस्पिटल पहुंचते ही डॉक्टरों ने छात्रा को मृत घोषित कर दिया।
पोस्टमार्टम से परिवार का इनकार
जिले की लोकल पुलिस ने एबीपी न्यूज के साथ बातचीत करते हुए बताया कि छात्रा के परिवार ने पोस्टमार्टम करने से साफ इनकार कर दिया। बच्ची की जान जाने के बाद घर में मातम पसर गया है और परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। हालांकि, बंदरों के आतंक का यह कोई पहले मामला नहीं है। इससे पहले पिछले साल बंदरों ने सीमेंट से बनी एक प्रतिमा को गिरा दिया था, जिसमें दबने की वजह से 44 वर्षीय महिला की मौत हो गई थी।