आरंग: राजस्थान, पंजाब, मध्यप्रदेश, उत्तरप्रदेश समेत उत्तर भारत के कई राज्यों में लंपी वायरस ने भयंकर तबाही मचाई है। देशभर में इस वायरस से लाखों गायों की मौत हो चुकी है। पशुपालकों का व्यवसाय तबाह हो गया है। लंपी वायरस के लक्षण अब छत्तीसगढ़ के आरंग में भी दिखने लगे हैं।
आरंग नगर में लंपी वायरस से एक गाय की मौत हो चुकी है, जबकि एक गाय में लक्षण देखा गया है, जिसका इलाज जारी है। इसकी पुष्टि पशु चिकित्सक जेपी घृतलहरे ने की है। आरंग में लंपी वायरस का केस मिलने के बाद क्षेत्र के पशुपालक काफी चिंतित हैं।
पशु चिकित्सालयों में चिकित्सकों की कमी
पशुपालकों की चिंता का प्रमुख कारण यहां के शासकीय पशु चिकित्सालय में संसाधन और कर्मचारियों की कमी है। चिकित्सालय में जरूरत पड़ने पर मवेशियों की दवाइयां और इंजेक्शन नहीं मिल रहा है।
इसके लिए लोगों को बाहर से दवाइयां ऊंचे दामों में खरीदना पड़ रहा है। यहां सहायक ग्रेड 02 के 02 पद और सहायक ग्रेड 03 के 03 पद कुल 05 पद खाली हैं, जिनमें अभी तक नियुक्ति नहीं हो पाई है।
अब तक नहीं हो सकी भर्ती
वहीं 34 संविदा कर्मियों की 1 साल की सेवा समाप्त होने के बाद इस पर अब तक भर्ती नहीं हो पाई है। इसके कारण आरंग पशु चिकित्सालय की स्थिति चिंताजनक हो गई है। अगर लंपी वायरस की रोकथाम के लिए शासन-प्रशासन की तरफ से ठोस कदम नहीं उठाया गया तो यहां भी स्थिति भयंकर हो सकती है।
आरंग क्षेत्र में झोलाछाप कर रहे पशुओं का इलाज
इन सब के बीच पशु चिकित्सक जेपी घृतलहरे ने बताया कि कई गांवों में झोलाछाप डॉक्टर की तरह अनधिकृत रूप से कई लोग पशुओं का इलाज कर रहे हैं, जिससे वायरस और रोग के बारे में विभाग को जल्द सूचना नहीं मिल पाता। इसके कारण संक्रमण बढ़ रहा है। डॉक्टर ने लोगों से आरंग क्षेत्र में लंपी वायरस के लक्षण दिखने पर विभाग को सूचना देने की अपील की है।