Bihar Bypoll Result : अमिताभ ओझा : बिहार मे चार सीटों पर हुए उपचुनाव मे इंडिया गठबंधन को बड़ा झटका लगा है। नीतीश कुमार-मोदी की गारंटी सभी पर भारी पड़ी है। चार सीटों पर हुए उपचुनाव के नतीजे एनडीए गठबंधन के खाते में आ गए जबकि जिन चार सीटों पर उपचुनाव हुए हैं उनमें से तीन पर इण्डिया जबकि एक पर एनडीए का कब्जा था। ये चारों सीटें ही विधायकों के सांसद बनने के कारण खाली हुई थीं। बिहार के तरारी, रामगढ़, इमामगंज और बेलागंज मे उपचुनाव के लिए मतदान हुए थे। एनडीए के उम्मीदवारों ने न सिर्फ आरजेडी के समीकरण को ध्वस्त किया बल्कि लाल सलाम के गढ़ में भी उसे मात दे दी।
बिहार के चार विधानसभा सीटों पर उपचुनाव हुए थे। एनडीए और इण्डिया दोनों गठबंधन इस चुनाव को अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए सेमीफइनल बता रहे थे। हालांकि एनडीए और इण्डिया गठबंधन के बीच प्रशांत किशोर की पार्टी जनसुराज की साख पर दांव पर लगी थी क्योंकि इन चारों ही सीटों पर प्रशांत किशोर ने भी अपने उम्मीदवार उतारे थे। आइये आपको जानते हैं, इन चारों सीटों का हाल!
दीपा मांझी को मिली जीत
गया जिले का बेलागंज विधानसभा सीट सुरेंद्र यादव के जहानाबाद के सांसद बनने और इमामगंज सीट जीतन राम मांझी के सांसद बनने के कारण खली हो गई थी। इमामगंज से केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी की बहु दीपा मांझी एनडीए की उम्मीदवार थी जबकि आरजेडी ने रौशन मांझी और जनसुराज ने जीतेन्द्र पासवान को उम्मीदवार बनाया। दीपा मांझी ने आरजेडी के रौशन मांझी को 5945 वोटो से हराया जबकि जनसुराज के उम्मीदवार को 37103 वोट मिला।
गया के ही बेलागंज सीट आरजेडी के लिए यह प्रतिष्ठा का सीट थी जहां से पिछले सात चुनावों से सुरेन्द्र यादव जीतते आ रहे थे. सुरेंद्र यादव सांसद बन गए, इसके बाद इस सीट पर उपचुनाव हुआ. ये सीट आरजेडी का गढ़ रहा है लेकिन इस बार यह किला दरक गया. हालांकि इस बार आरजेडी ने सुरेन्द्र यादव के बेटे विश्वनाथ सिंह यादव को उम्मीदवार बनाया था, जनसुराज ने मो अमजद को उम्मीदवार बनाया लेकिन जेडीयू उम्मीदवार मनोरमा देवी ने सुरेंद्र यादव का किला ध्वस्त कर दिया है। मनोरमा देवी ने 21391 मतों से जीत हासिल की है।
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तरारी विधानसभा सीट पर जीती भाजपा
भोजपुर के तरारी विधानसभा सीट पर भाजपा ने परचम लहराया है। सुदामा प्रसाद के आरा के सांसद चुने जाने के बाद इस सीट पर उपचुनाव हो रहा था, जिसमे राजू यादव भाकपा माले के उम्मीदवार थे। जबकि बीजेपी ने यहां से पूर्व विधायक सुनील पाण्डेय के बेटे विशाल प्रशांत को उम्मीदवार बनाया था। विशाल प्रशांत 10507 वोट चुनाव जीत गए। जनसुराज की उम्मीदवार किरण देवी को सिर्फ 5592 वोट मिले।
वही दूसरी तरफ रामगढ़ मे आरजेडी बुरी तरह हारी है। आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष जागतानंद सिंह के बड़े बेटे सुधाकर सिंह के बक्सर से सांसद चुने जाने के बाद इस सीट पर हो रहे उपचुनाव मे सुधाकर सिंह के भाई अजित सिंह को आरजेडी ने उम्मीदवार बनाया था लेकिन अजित सिंह लड़ाई मे तीसरे नंबर पर रहे। मुकाबला बहुजन समाज पार्टी के सतीश कुमार सिंह और बीजेपी के अशोक कुमार सिंह के बीच रहा और जीत अशोक कुमार सिंह की हुई।
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बिहार की राजनीति को समझने वाले राजनीतिक विश्लेषक डॉ संजय कुमार ने पांच कारण गिनाएं हैं, जिसके कारण एनडीए को जीत मिली है।
- नीतीश कुमार और नरेंद्र मोदी की गारंटी पर लोगो ने भरोसा जताया।
- नीतीश कुमार और मोदी के पक्ष में महिलाओं का रुझान फिर दिखा।
- उपचुनाव की घोषणा के बाद से ही एनडीए गठबंधन ने पूरी एकजुटता दिखाते हुए प्रचार किया लेकिन इण्डिया गठबंधन में इसका आभाव दिखा।
- इण्डिया गठबंधन मे तेजशवी यादव और भाकपा माले के महासचिव दीपानकर भट्टचार्य कभी एक साथ मंच पर नहीं आए। जबकि एनडीए के साथ पुरे गठबंधन के नेता रहे।
- पहली बार मैदान मे उतरे जनसुराज के उम्मीदवारों ने बेलागंज और इमामगंज मे एनडीए उम्मीदवार की जीत को आसान किया।