नई दिल्ली: आनंद मोहन की रिहाई के खिलाफ दायर याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। दिवंगत आईएएस की पत्नी उमा कृष्णैया ने छूट दिलाने के लिए प्रावधान बदलने के बिहार की नीतीश सरकार के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। सुप्रीम कोर्ट में बिहार सरकार ने लिखित जवाब के लिए समय की मांग की, जिस मंजूर कर ली गई। कोर्ट ने अगली सुनवाई एक अगस्त को करने की तारीख दी है।
कोर्ट ने कहा कि बिहार सरकार को एक अगस्त को जवाब दाखिल कर देना है। इससे बाद इस नाम पर समय नहीं मिलेगा। हालांकि, इससे पहले सुप्रीम कोर्ट में 8 मई को सुनवाई हुई थी। उस दिन कोर्ट ने बिहार सरकार और आनंद मोहन को नोटिस करते हुए इस मामले पर दोनों से जवाब मांगा था। कोर्ट ने इस मामले में 2 हफ्ते में जवाब देने का निर्देश दिया था।
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भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) अधिकारी जी. कृष्णैया हत्याकांड के दोषी बाहुबली पूर्व सांसद आनंद मोहन को उम्रकैद में छूट देने के लिए बिहार सरकार ने प्रावधानों में कुछ बदलाव किया था, जिससे उनकी समय-पूर्व रिहाई हो गई।
बता दें कि आईएएस जी कृष्णैया की 1994 में मुजफ्फरपुल में हत्या कर दी गई थी। उस समय वे गोपालगंज के डीएम थे। आनंद मोहन और उनके समर्थको पर इस हत्या का आरोप लगा था। अदालत ने आनंद मोहन दोषी ठहराया था और फांसी की सजा सुनाई थी। हालांकि बाद में उनकी फांसी की सजा का उम्र कैद में बदल दिया गया।
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