नई दिल्ली: ओलंपियन बजरंग पूनिया का कहना है कि डब्ल्यूएफआई के निवर्तमान प्रमुख बृजभूषण सिंह के खिलाफ यौन उत्पीड़न मामले में बयान बदलने वाली नाबालिग लड़की के पिता ने कहा था कि वह काफी दबाव में थे। जबकि पूरा परिवार अवसाद में था। एएनआई के साथ एक इंटरव्यू में बजरंग ने कहा- यदि कोई व्यक्ति दबाव में है, तो उसे कुछ भी कहने के लिए मजबूर किया जा सकता है।
15 जून तक मांगे नहीं मानीं तो बड़ा प्रदर्शन करेंगे
उन्होंने कहा कि यदि सरकार के आश्वासन के अनुरूप 15 जून तक मामले में आरोप पत्र दाखिल नहीं किया गया तो पहलवान और बड़ा विरोध प्रदर्शन करेंगे। बजरंग ने कहा- नाबालिग पहलवान के पिता ने कहा है कि उन पर हर तरफ से काफी दबाव था। मीडिया ने यह हिस्सा नहीं दिखाया.. केवल यह दिखाया कि बयान वापस ले लिया गया है, लेकिन इसका कारण नहीं बताया। उन्होंने कहा- बृजभूषण जैसे लोग बाहर घूमेंगे तो दबाव जरूर डालेंगे। अगर नाबालिग के पिता को कुछ होता है उनके लिए पिता कौन वापस लाएगा?
Minor girl's father decided to change statement against Brij Bhushan Singh under "lot of pressure": Bajrang Punia
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---विज्ञापन---— ANI Digital (@ani_digital) June 10, 2023
फर्जी खबरें फैलाई जा रही हैं
उन्होंने कहा- लड़की के नाबालिग होने या न होने की पूरी जानकारी केवल उसके परिवार के सदस्य ही दे सकते हैं। दुख की बात यह है कि फर्जी खबरें फैलाई जा रही हैं कि पहलवान मंत्रियों के साथ समझौता कर रहे हैं…हमने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर से मुलाकात की है। यदि आवश्यक हुआ, तो हम 15 जून के बाद विरोध करेंगे। हमारे विरोध शुरू करने के बाद कोई भी पहलवान अपनी सरकारी ड्यूटी को फिर से शुरू नहीं करेगा।
पुलिस लड़कियों को डराने की कोशिश कर रही है
बजरंग ने आरोप लगाया कि पुलिस अपनी जांच के तहत एक महिला पहलवान को बृजभूषण के घर ले गई। पूनिया ने कहा- ऐसा लगता है जैसे पुलिस लड़कियों को डराने की कोशिश कर रही है। वे महिला पहलवान को जांच के लिए बृजभूषण के घर ले गए। जब पहलवान ने पूछा तो पुलिस ने कहा कि अंदर कोई नहीं है। बाद में हमें पता चला कि बृजभूषण घर में ही था। ऐसा नहीं होना चाहिए था। यह हमारे लिए भी चिंता का विषय है। दिल्ली पुलिस ने शुक्रवार को कहा था कि महिला पहलवान को भारतीय कुश्ती महासंघ के कार्यालय ले जाया गया।
डब्ल्यूएफआई सदस्य नहीं बनेंगे बृजभूषण और सहयोगी
सोनीपत में शनिवार को हुई पंचायत का जिक्र करते हुए पूनिया ने कहा कि इसे पहलवानों ने बुलाया था। उन्होंने कहा- सरकार ने हमें आश्वासन दिया है कि 15 जून से पहले चार्जशीट दाखिल कर दी जाएगी। जबकि बृजभूषण और उनके सहयोगी डब्ल्यूएफआई के सदस्य नहीं बनेंगे।
30 जून तक होंगे चुनाव
केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने गुरुवार को कहा था कि प्रदर्शनकारी पहलवानों से बातचीत सकारात्मक रही और विभिन्न मांगों पर फैसले लिए गए। उन्होंने कहा- आंदोलनकारी पहलवानों के साथ बहुत सकारात्मक चर्चा थी। उनकी तरफ से आए सभी मुद्दों पर गंभीरता से चर्चा की गई। हमने कहा है कि चार्जशीट 15 जून तक दायर की जाएगी और रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया के चुनाव 30 जून तक होंगे। खिलाड़ियों के लिए आंतरिक शिकायत समिति का गठन किया जाएगा और एक महिला खिलाड़ी या एक अधिकारी को इसका अध्यक्ष बनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि भारतीय ओलंपिक संघ (IOA) की एडहॉक कमेटी के लिए पहलवानों द्वारा दो कोचों के नाम भी प्रस्तावित किए गए हैं। उन्हें इसका सदस्य बनाया जाएगा।
ठाकुर ने कहा कि पहलवानों ने संदेश दिया कि वे अपने समर्थकों को बातचीत की जानकारी देंगे। उन्होंने कहा- हम यह भी चाहते हैं कि खिलाड़ी जल्द ही मैट पर वापसी करें और आगे की प्रतियोगिताओं में भाग लें। दिल्ली पुलिस भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज होने के बाद यौन उत्पीड़न के आरोपों की जांच कर रही है।