Premanand Ji Maharaj Viral Video: आज की दुनिया में हर कोई अच्छी जिंदगी की तलाश में दौड़ रहा है। क्योंकि आज के दौर में पैसा ही वह साधन बन गया है जो इंसान को इज्जत, शोहरत, रिश्ते, दोस्ती और सामाजिक प्रतिष्ठा दिला सकता है। लोग अब भावनाओं से नहीं, व्यवहार और लाभ के आधार पर रिश्ते निभाते हैं। ऐसा कहा जाता है कि अब रिश्ते दिल से नहीं पैसों से जुड़ते हैं।
इसी संदर्भ में एक घटना सामने आई जहां दिल्ली पुलिस में कार्यरत एक भक्त ने संत प्रेमानंद जी महाराज से एक सवाल पूछा। सवाल यह था कई बार ऐसे लोगों से सामना होता है जो अपने परिवार में अकेले कमाने वाले होते हैं। अगर वह अपने परिवार को पालने और जरूरतें पूरी करने के लिए किसी अपराध में शामिल हो जाएं तो क्या वह उचित है?
इस सवाल पर संत प्रेमानंद जी महाराज ने बड़ी स्पष्टता से जवाब दिया। उन्होंने कहा
अपराध करना किसी भी स्थिति में दया का पात्र नहीं होता है। बल्कि अपराध करने वाला व्यक्ति दंड का पात्र होता है। उन्होंने समझाया कि चाहे कोई कितनी भी मजबूरी में हो अगर वह गलत काम करता है तो वह गलत ही माना जाएगा। जब हर कोई यही सोचने लगे कि मजबूरी में किया गया अपराध माफ हो सकता है तो समाज में अराजकता फैल जाएगी।
संत प्रेमानंद जी का कहना था कि परिस्थितियां चाहे कैसी भी हों—व्यक्ति अमीर हो या गरीब, अकेला कमाने वाला हो या कोई और अगर वह अपराध करता है तो उसे अपने कर्मों का दंड अवश्य मिलना चाहिए। मजबूरी, गरीबी, या दबाव को अपराध का औचित्य नहीं बनाया जा सकता।
अंत में उन्होंने यह भी कहा कि इंसान को हर परिस्थिति में सही रास्ता चुनना चाहिए, क्योंकि सच्चा साहस वही होता है जो कठिन समय में भी सत्य और धर्म का साथ देता है।
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