Navratri 2024: नवरात्रि महापर्व देवी दुर्गा को समर्पित एक बेहद महत्वपूर्ण हिंदू त्योहार है। इस महापर्व के 9 दिनों के दौरान देवी माता के नौ विभिन्न रूपों की विधिवत पूजा की जाती है। वहीं ज्योतिष शास्त्र में नवग्रहों का बहुत महत्व है, क्योंकि ये नौ ग्रह मनुष्य के जीवन पर गहरा प्रभाव डालते हैं। नवरात्रि के दिनों के अनुसार देवी दुर्गा के नौ रूपों की पूजा के साथ नवग्रहों की पूजा से जीवन पर ग्रहों के प्रभाव को संतुलित किया जा सकता है। यह व्यक्ति के जीवन में आने वाली समस्याओं को कम करने में मदद करता है और घर धन-धान्य से भर जाता है। आइए जानते हैं, इस साल नवरात्रि कब से कब तक है और किस दिन किस देवी के साथ किस ग्रह की पूजा से लाभ होगा?
कब से कब तक है नवरात्रि 2024
सनातन पंचांग के अनुसार, इस बार शारदीय नवरात्रि का आरंभ 3 अक्टूबर 2024 से होगा, जिसका समापन 12 अक्टूबर 2024 को दशहरा के दिन होगा। शारदीय नवरात्रि के पहले दिन घटस्थापना का मुहूर्त प्रात: काल 06 बजकर 15 मिनट से लेकर सुबह 07 बजकर 22 मिनट तक है।
नवरात्रि की देवियां और नवग्रह पूजा
नवरात्रि के नौ दिनों में अलग-अलग देवी की पूजा होती है और हर देवी की विशेषताएं और फल देने की शक्ति भिन्न-भिन्न है। इन देवियों का अलग-अलग ग्रह से संबंध जुड़ता है। आइए जानते हैं, किस दिन किस देवी के साथ किस ग्रह की पूजा से लाभ होता है?
मां शैलपुत्री
मां शैलपुत्री नवरात्रि की प्रथम देवी हैं, जो जीवन में नई शुरुआत, शांति और शक्ति का प्रतीक हैं। आपकी पूजा करने से शारीरिक और मानसिक शक्ति मिलती है और सभी प्रकार के भय दूर होते हैं।
किस ग्रह की पूजा करें: नवरात्रि के प्रथम मां शैलपुत्री की पूजा कर राहु ग्रह का आह्वान उसके बीज मंत्र का जाप करने से व्यक्ति शांत, धैर्यवान और साहसी बन जाता है।
मां ब्रह्मचारिणी
मां ब्रह्मचारिणी ज्ञान और तपस्या की देवी हैं। इनकी पूजा से व्यक्ति में ज्ञान, बुद्धि और एकाग्रता में वृद्धि होती है।
किस ग्रह की पूजा करें: नवरात्रि के दूसरे दिन मां ब्रह्मचारिणी की पूजा के साथ बुध ग्रह की पूजा करने से व्यक्ति में बुद्धि, विवेक, संचार कौशल के विकास के साथ संयम में वृद्धि होती है।
मां चंद्रघंटा
मां चंद्रघंटा शक्ति और शौर्य की देवी हैं, जिनकी पूजा से मन शांत होता है और सभी प्रकार के कष्ट दूर होते हैं।
किस ग्रह की पूजा करें: नवरात्रि के तीसरे दिन मां चंद्रघंटाकी पूजा के साथ चंद्रमा की पूजा करने से मन शांत रहता है, स्वभाव में शीतलता आती है और भावनात्मक संतुलन बना रहता है।
मां कुष्मांडा
मां कुष्मांडा को सृष्टि की अधिष्ठात्री देवी माना गया हैं, जिनकी आराधना से आरोग्य और समृद्धि प्राप्त होती है।
किस ग्रह की पूजा करें: नवरात्रि के चौथे दिन मां कुष्मांडा के साथ सूर्य की आराधना करनी चाहिए। इससे व्यक्ति में नेतृत्व क्षमता, आत्मविश्वास और शुभ ऊर्जा का विकास होता है।
मां स्कंदमाता
मां स्कंदमाता भगवान कार्तिकेय की माता हैं, वे मातृत्व और संरक्षण की देवी हैं। आपकी पूजा से संतान प्राप्ति और सुख-समृद्धि होती है।
किस ग्रह की पूजा करें: नवरात्रि के पांचवें दिन मां स्कंदमाता के साथ साहस, ऊर्जा और उत्साह के स्वामी ग्रह मंगल ग्रह की पूजा करनी चाहिए।
मां कात्यायनी
मां कात्यायनी क्रोध और शक्ति की देवी हैं, जिनकी पूजा से शत्रुओं का नाश होता है और मनोकामनाएं पूरी होती हैं।
किस ग्रह की पूजा करें: नवरात्रि के छठे दिन दिन मां कात्यायनी की पूजा के साथ शुक्र ग्रह की पूजा करनी चाहिए।
मां कालरात्रि
मां कालरात्रि अज्ञान और तामस का नाश करने वाली देवी हैं, जिनकी पूजा से सभी प्रकार के भय और पापों से मुक्ति मिलती है।
किस ग्रह की पूजा करें: नवरात्रि के सातवें दिन दिन मां कालरात्रि की पूजा के साथ शनि ग्रह की पूजा करनी चाहिए।
मां महागौरी
मां महागौरी शांति और शिव की देवी हैं, जिनकी आराधना से मन शांत होता है और मोक्ष की प्राप्ति होती है।
किस ग्रह की पूजा करें: नवरात्रि के आठवें दिन दिन मां महागौरी की पूजा के साथ केतु ग्रह की पूजा करनी चाहिए।
मां सिद्धिदात्री
मां सिद्धिदात्री सभी सिद्धियों की देवी हैं, जिनकी पूजा से सभी प्रकार के ज्ञान और सिद्धियां प्राप्त होती हैं।
किस ग्रह की पूजा करें: नवरात्रि के नौवें दिन मां सिद्धिदात्री के साथ गुरु ग्रह बृहस्पति की पूजा करनी चाहिए।
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