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West Bengal: शिक्षक भर्ती घोटाले में 37 घंटे के सर्च ऑपरेशन के बाद अयन शील गिरफ्तार, जानें कौन है ये आरोपी

West Bengal: शिक्षक भर्ती घोटाले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने 37 घंटे की तलाशी अभियान के बाद अयन शील को गिरफ्तार किया है। अयन तृणमूल नेता शांतनु बनर्जी का बेहद करीबी प्रमोटर है। ईडी सूत्रों का कहना है कि अयन शील शांतनु बनर्जी की घोटाले से से काली कमाई को व्हाइट करता था। बता दें कि […]

Edited By : Bhola Sharma | Updated: Mar 20, 2023 18:47
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West Bengal: शिक्षक भर्ती घोटाले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने 37 घंटे की तलाशी अभियान के बाद अयन शील को गिरफ्तार किया है। अयन तृणमूल नेता शांतनु बनर्जी का बेहद करीबी प्रमोटर है। ईडी सूत्रों का कहना है कि अयन शील शांतनु बनर्जी की घोटाले से से काली कमाई को व्हाइट करता था।

बता दें कि तीन दिन पहले 17 मार्च को ईडी ने शांतनु के करीबी आकाश घोष को गिरफ्तार किया था। आरोप है कि आकाश को प्रॉपर्टी खरीदने के लिए शांतनु ने पैसे दिए थे।

कई उम्मीदवारों की लिस्ट ईडी के लगी हाथ

सूत्रों के हवाले से यह भी पता चला है कि ईडी की टीम को शिक्षक भर्ती घोटाले से जुड़े कई दस्तावेज सहित एसएससी उम्मीदवारों की कई लिस्ट भी मिली है। जिसके आधार पर ईडी की टीम मामले में गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ भी कर रही है।

ईडी के अधिकारियों ने बालागढ़ के एक रिसॉर्ट में शांतनु के करीबी कुछ लोगों से पूछताछ की। साथ ही ईडी की एक टीम अयन के घर भी पहुंची। सूत्रों के मुताबिक अयन शांतनु का करीबी हैं। अयन को उसके घर से गिरफ्तार किया गया। ईडी के मुताबिक प्रमोटर अयन और उसके माता-पिता से भी जिरह की। घर की तलाशी भी ली गई। अयन के घर से निकलते वक्त ईडी के अधिकारियों के हाथ कई फाइलें भी मिलीं है।

सात हार्ड डिस्क की जब्त

पारिवारिक सूत्रों के मुताबिक अयन के पिता के नाम कई पेपर्स और कागजातों मे हस्ताक्षर के रूप में अंकित हैं। सूत्रों से यह भी पता चला है की ईडी अन्य सामग्रियों के अलावा उनके कार्यालय से सात हार्ड डिस्क से डिजिटल दस्तावेज जब्त किए है। शांतनु बनर्जी पर शील के माध्यम से कई व्यवसायों में कथित घोटाले से आय का एक हिस्सा निवेश करने का संदेह है।

2015 में था मोबाइल मैकेनिक

अयन शील 2015 में एक मोबाइल मैकेनिक था। लेकिन सात सालों में वह करोड़पति बन गया। उसने बिजली कंपनी में भी नौकरी की थी। ईडी ने पिछले हफ्ते एक अदालत को बताया था कि जिस भर्ती घोटाले में टीएमसी के कई नेताओं को गिरफ्तार किया गया है, उसकी मात्रा 350 करोड़ रुपये तक हो सकती है।

5 से 15 लाख रुपए तक वसूले गए

2022 में कलकत्ता उच्च न्यायालय ने 2014 और 2021 के बीच पश्चिम बंगाल स्कूल सेवा आयोग और पश्चिम बंगाल माध्यमिक शिक्षा बोर्ड द्वारा गैर-शिक्षण और शिक्षण कर्मचारियों की नियुक्ति की केंद्रीय जांच ब्यूरो को जांच का आदेश दिया। चयन परीक्षाओं में असफल होने के बाद नौकरी पाने के लिए 5 से 15 लाख रुपए तक वसूले जाने की बात कही जा रही है।

ईडी ने कथित घोटाले के सिलसिले में पिछले साल शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी और उनकी करीबी अर्पिता मुखर्जी को गिरफ्तार किया था। राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बाद में चटर्जी को सरकार से हटा दिया और उन्हें टीएमसी से भी निलंबित कर दिया।

कोलकाता से अमर देव पासवान की रिपोर्ट।

यह भी पढ़ें: West Bengal: शांतनु बनर्जी के ठिकानों पर ED ने की छापेमारी, करीबी आकाश घोष को हिरासत में लिया

First published on: Mar 20, 2023 06:46 PM

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