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मणिपुर में हिंसा पर काबू के लिए बना ‘मास्टरप्लान’, जानें क्या है One force One District पॉलिसी?

Manipur violence One force, One District Policy: जातीय हिंसा से जूझ रहे मणिपुर में शांति, सामान्य स्थिति बहाल करने और बेहतर समन्वय (Better Coordination) के लिए ‘एक जिला, एक बल’ व्यवस्था अपनाने की संभावना है। पूर्वोत्तर राज्य में सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए गृह मंत्रालय (एमएचए) और राज्य सरकार लगातार प्रयास कर रही है। बता दें […]

Edited By : Om Pratap | Updated: Sep 28, 2023 07:12
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Manipur violence One force One District Policy ministry of home affairs

Manipur violence One force, One District Policy: जातीय हिंसा से जूझ रहे मणिपुर में शांति, सामान्य स्थिति बहाल करने और बेहतर समन्वय (Better Coordination) के लिए ‘एक जिला, एक बल’ व्यवस्था अपनाने की संभावना है। पूर्वोत्तर राज्य में सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए गृह मंत्रालय (एमएचए) और राज्य सरकार लगातार प्रयास कर रही है। बता दें कि राज्य पिछले 3 मई से जातीय हिंसा से जूझ रहा है।

क्या है एक जिला, एक बल की नीति?

हिंदुस्तान टाइम्स के मुताबिक, दिल्ली में एक सुरक्षा अधिकारी के मुताबिक, ‘एक जिला, एक बल’ व्यवस्था के तहत एक अर्धसैनिक बल के कर्मी एक जिले में कानून और व्यवस्था बनाए रखने के लिए जिम्मेदार होंगे। उन्होंने कहा कि इस कदम का उद्देश्य जवाबदेही सुनिश्चित करना और बलों के बीच संघर्ष की संभावना को कम करना भी है।

अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि सुरक्षा सलाहकार कुलदीप सिंह के नेतृत्व में ‘एक जिला, एक बल’ व्यवस्था के लिए राज्य भर में सुरक्षा कर्मियों की फेरबदल का आदेश दे सकती है।

एक जिला, एक बल नीति से क्या होगा फायदा?

अधिकारी ने बताया कि किसी विशेष जिले की देखभाल के लिए एक बल होने से कॉर्डिनेशन में मदद मिलेगी और जवाबदेही भी तय होगी। बल किसी विशेष जिले में होने वाली हर चीज के लिए जिम्मेदार होगा। चूंकि CRPF के पास अधिक कर्मी हैं, इसलिए संभावना है कि उन्हें एक से अधिक जिलों में तैनात किया जा सकता है।

अधिकारी के मुताबिक, ये सभी अर्धसैनिक बल राज्य पुलिस के साथ मिलकर काम करेंगे। हालांकि आधिकारिक आदेश अभी जारी नहीं हुआ है, लेकिन इसके जल्द जारी होने की संभावना है।

अधिकारी के मुताबिक, बलों की तैनाती प्रत्येक जिले में मौजूद बलों के मौजूदा कार्यालयों या शिविरों के आधार पर की जा सकती है। राज्य में 16 प्रशासनिक जिले हैं। हिंसा भड़कने से पहले भी राज्य में सीआरपीएफ और सेना की कुछ कंपनियां तैनात थीं। अर्धसैनिक बलों में सीआरपीएफ के सबसे अधिक जवान मणिपुर में तैनात हैं। बता दें कि मणिपुर सरकार के किसी भी अधिकारी ने इस मामले पर कोई टिप्पणी नहीं की है।

राज्य में अर्धसैनिक बल की कितनी कंपनियां तैनात?

मणिपुर में फिलहाल, विभिन्न अर्धसैनिक बलों की 200 से अधिक कंपनियां तैनात हैं। राज्य में देश के पांच अर्धसैनिक बल (CRPF, BSF, ITBP, SSB, CISF) असम राइफल्स और सेना के साथ शांति और सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए राज्य पुलिस के साथ मिलकर काम कर रही है। बता दें कि 3 मई से मैतेई और कुकी समुदायों के बीच चल रही हिंसा में करीब 175 लोग मारे जा चुके हैं।

First published on: Sep 28, 2023 07:12 AM

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