KVIC sale Rs 12.02 Crore in MahaKumbh 2025: महाकुंभ की गूंज अभी भी पूरे देश में सुनने को मिल रही है। महाकुंभ बेशक खत्म हो चुका है, मगर इससे जुड़े रोज नए रिकॉर्ड्स सामने आ रहे हैं। महाकुंभ के दौरान खादी इंडिया ने भी 12.02 करोड़ का बिजनेस किया है। खादी एंड विलेज इंडस्ट्रीज कमीशन (KVIC) के चेयरमैन मनोज कुमार ने इसका खुलासा किया है।
कितने की हुई बिक्री?
मनोज कुमार के अनुसार 14 फरवरी 2025 को खादी ने प्रयागराज के महाकुंभ में राष्ट्रीय स्तर की प्रदर्शनी लगाई थी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खादी आंदोलन के कारण KVIC ने करोड़ों का मुनाफा कमाया है। खादी ने महाकुंभ में 12.02 करोड़ का व्यापार किया है। मनोज कुमार का कहना है कि प्रदर्शनी में खादी के 98 स्टॉल लगाए गए थे, वहं 54 विलेज इंडस्ट्री के स्टॉल भी मौजूद थे। ऐसे में खादी इंडस्ट्री ने 9.76 करोड़ रुपए की बिक्री की और विलेज इंडस्ट्री ने 2.26 करोड़ के प्रोडक्ट बेचे हैं।
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KVIC का हनी मिशन
मनोज कुमार ने बताया कि न्यू खादी फॉर न्यू इंडिया मूवमेंट के तहत दिल्ली के राजघाट कार्यालय से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग का आयोजन किया गया था। इस दौरान 6 राज्यों के 205 मधुमक्खी पालकों को 2,050 मधुमक्खी के बक्से, शहद की बस्तियां और टूलकिट बांटे गए हैं। इस कार्यक्रम को संबोधित करते हुए KVIC अध्यक्ष ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गांवों में स्वीट क्रांति का सपना देखा है। इसी के तहत मधुमक्खी पालकों को यह सब दिया गया है। इसी के साथ हमने हनी मिशन की शुरुआत की है।
पीएम मोदी ने किया था जिक्र
कारीगरों को संबोधित करते हुए KVIC के अध्यक्ष में कहा कि 2016 में गुजरात के बनासकांठा से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने श्वेत क्रांति के साथ-साथ स्वीट क्रांति की भी नींव रखी थी। इसी से प्रेरणा लेते हुए KVIC ने 2017 में हनी मिशन शुरू किया था। इस मिशन के तहत 20,000 से ज्यादा लोगों को फायदा हुआ है। मन की बात के 75वें एपिसोड में पीएम मोदी मधुमक्खी पालकों की बात की थी। शहद के अलावा मोम भी उनकी आय का मुख्य सोर्स है।
पिछले 10 साल में कितनी ग्रोथ?
KVIC अध्यक्ष मनोज कुमार के अनुसार पिछले 10 साल में KVIC की बिक्री में पांच गुना का इजाफा हुआ है। इस दौरान KVIC ने 31,000- 1,55,000 करोड़ रुपए के उत्पाद बेचे हैं। KVIC में सिर्फ खादी के कपड़ों की बिक्री 6 गुना तक बढ़कर 1,081 से 6,496 करोड़ रुपए तक हो गई है। इससे पिछले वित्त वर्ष में 10.17 लाख नए रोजगार के अवसर बने हैं। पिछले एक दशक में खादी के कर्मचारियों की आय भी 213 प्रतिशत तक बढ़ गई है। साथ ही 80 प्रतिशत रोजगार महिालओं के लिए सृजित हुए हैं।
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