राजस्थान के जयपुर में वक्फ कानून को लेकर कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा ने एक बड़ा बयान दिया। रंधावा ने केंद्र की मोदी सरकार और भाजपा पर निशाना साधते हुए सवाल उठाया कि क्या इस नए वक्फ कानून के जरिए सरकार मुस्लिम समुदाय को सिर्फ ‘हिंदू-मुसलमान’ के आधार पर बांटने की कोशिश कर रही है? उनका कहना था कि यह कानून केवल वोटों का ध्रुवीकरण करने के लिए लाया गया है और इससे मुस्लिम समुदाय को अनावश्यक परेशानी का सामना करना पड़ेगा।
वक्फ कानून पर कांग्रेस का सवाल
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा और प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा ने वक्फ कानून में किए गए संशोधनों पर सवाल उठाए हैं। उनका कहना है कि इस कानून में कोई भी मुस्लिम संगठन या जनप्रतिनिधि भाजपा और मोदी सरकार से नहीं कह रहा था कि नया वक्फ कानून लाया जाए। रंधावा ने यह भी कहा कि इस कानून का मकसद सिर्फ हिंदू-मुसलमान करके वोटों का ध्रुवीकरण करना है।
पाकिस्तान में क्या होगा?
रंधावा ने यह सवाल भी उठाया कि यदि पाकिस्तान में ऐसा ही कानून लागू हुआ तो वहां के मंदिरों और गुरुद्वारों की क्या स्थिति होगी? उन्होंने यह उदाहरण दिया कि पाकिस्तान में हिंदू मंदिर और गुरुद्वारे वक्फ के अंतर्गत आते हैं और यदि वहां भी ऐसा कोई कानून लागू होता है, तो वहां के धार्मिक स्थल कैसे बचेंगे?
भाजपा की नीतियों पर हमला
रंधावा ने भाजपा की नीतियों पर हमला करते हुए कहा कि भाजपा केवल आरएसएस की सोच पर काम कर रही है। उनका कहना था कि भाजपा का यह कदम केवल वोटों के लिए एक समुदाय को परेशान करने के लिए किया जा रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि बांग्लादेश में हिंदुओं पर रोज अत्याचार हो रहे हैं, लेकिन प्रधानमंत्री मोदी और भाजपा इस पर कोई भी बात नहीं करते हैं।
धार्मिक एकता की बात
रंधावा ने गुरुनानक साहब का हवाला देते हुए कहा कि ‘न कोई हिंदू है, न कोई मुसलमान है, सब एक ईश्वर की संतान हैं’, यह बात गुरुनानक साहब ने साढ़े पांच सौ साल पहले कही थी। रंधावा ने भाजपा की आलोचना करते हुए कहा कि वे हिंदू और मुसलमान को आपस में बांटने की कोशिश कर रहे हैं, जबकि भगवान राम ने शबरी के झूठे बेर खाए थे, जो दलितों के लिए एक प्रतीक हैं।