अनुच्छेद 370 हटने के बाद जम्मू-कश्मीर में सबसे बड़ा परिवर्तन युवाओं की सोच में आया, जम्मू कश्मीर का युवा राष्ट्र-निर्माण में सक्रिय रूप से आज पूरी तरह से तैयार हैं और मातृभूमि की रक्षा के लिए प्रतिबद्ध हैं.
वे पाकिस्तानी प्रॉक्सी के झूठे प्रचार का शिकार नहीं हो रहे, बल्कि जम्मू-कश्मीर और देश के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए मैदान में खड़े हैं. जम्मू कश्मीर के युवाओं ने आज साबित किया हैं कि वे सच में ‘मिट्टी के बेटे’ हैं, अपने भविष्य और अपने प्रदेश की नई कहानी खुद लिख रहे हैं.

उधमपुर में आज टेरिटोरियल आर्मी की एक भव्य पासिंग आउट परेड का आयोजन किया गया, जिसमें 262 नए रिक्रूट्स विधिवत रूप से सेना में शामिल हुए. इस महत्वपूर्ण समारोह के दौरान आर्मी के लेफ्टिनेंट जनरल पीके मिश्रा व्हाइट नाइट कॉर्प्स मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे और उन्होंने जवानों का हौसला और मनोबल बढ़ाया.
ये सभी युवा नॉर्थ कश्मीर के अलग-अलग जिलों से हैं. कश्मीर के स्थानीय होने के कारण इन्हें न केवल अपने क्षेत्र की टोपोग्राफी की गहरी समझ है, बल्कि परिस्थितियों से निपटने का व्यावहारिक अनुभव भी है. विशेषज्ञों का मानना है कि इन युवाओं की भर्ती से टेरिटोरियल आर्मी की परिचालन क्षमता में वृद्धि होगी.

कश्मीर के इन युवाओं का सेना में शामिल होना जम्मू-कश्मीर में चल रहे आतंक-विरोधी अभियानों, अंदरूनी सुरक्षा तंत्र, और राष्ट्र-विरोधी तत्वों की गतिविधियों की निगरानी को एक नई मजबूती प्रदान करेगा. स्थानीय वातावरण और क्षेत्रीय जानकारी होने के कारण ये जवान ज़मीनी स्तर पर प्रभावी सूचना जुटाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे.
जम्मू-कश्मीर का युवा सेना में शामिल होकर राष्ट्रसेवा की भावना के साथ बड़ी संख्या में सेना और सुरक्षा एजेंसियों का हिस्सा बन रहा है. इस पासिंग आउट परेड के मौके पर सेना में शामिल हुए ने युवाओं के परिजनों ने भी बढ़-चला कर भाग लिया यह दिखाता है कि युवाओं के साथ उनके परिजनों में भी बेहद ज्यादा उत्साह है यह वह जवान है जो बनेंगे आतंकियों का काल.










