मेनोपॉज के बाद महिलाओं के शरीर में हार्मोनल बदलाव आते हैं, जिनके कारण कई स्वास्थ्य समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं। इस समय के दौरान, महिलाओं के शरीर में एस्ट्रोजन हार्मोन का स्तर घटने लगता है, जिससे हड्डियों, हृदय, मानसिक स्वास्थ्य और अन्य शारीरिक कार्यों पर प्रभाव पड़ता है। इस स्थिति में शराब का सेवन महिलाओं की सेहत के लिए और भी खतरनाक हो सकता है। हालांकि, शराब पीना किसी के लिए भी फायदेमंद नहीं होता है। मगर कभी-कभी सावधानियां ज्यादा बरतनी होती हैं। इसके परिणाम महिलाओं के शरीर पर नकारात्मक हो सकते हैं। आइए जानते हैं क्या नुकसान होंगे।
मेनोपॉज के बाद शराब पीने से क्या होगा?
1. हॉट फ्लैशेस और रात में पसीना आना
शराब ब्लड वेस्लस को फैलाकर रात में पसीना लाने का काम करती है, जिससे अचानक गर्मी और अत्यधिक पसीना आने की समस्या हो जाती है। हालांकि, कुछ महिलाओं को मध्यम मात्रा में शराब के सेवन करने के बाद भी ऐसे लक्षण बढ़ जाते हैं। मगर समय रहते इस आदत को सुधार लेना चाहिए।
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2. नींद में गड़बड़ी
शराब पीने से आपको शुरुआत में तो नींद आ सकती है, लेकिन यह REM (रैपिड आई मूवमेंट) स्लीपिंग पैटर्न में हस्तक्षेप करके नींद की गुणवत्ता को प्रभावित करती है। मेनोपॉज से गुजर रही महिलाओं को आमतौर पर नींद न आने की समस्या होती है और शराब पीने से उन्हें सोने में मुश्किल हो सकती है।
3. मूड स्विंग्स
मेनोपॉज के दौरान होने वाले हार्मोनल चेंजिस पहले से ही महिलाओं को मूड स्विंग और चिंता में ज्यादा डाल देते हैं। शराब मूड स्विंग को बढ़ाती है और महिलाएं अधिक चिड़चिड़ी और चिंतित महसूस करने लगती हैं।
लॉन्ग टर्म प्रॉब्लम्स
1. हड्डियों की सेहत पर असर
मेनोपॉज के बाद महिलाओं के शरीर की हड्डियों का घनत्व कम होने लगता है, जिससे ऑस्टियोपोरोसिस की संभावनाएं बढ़ जाती है। शराब का सेवन हड्डियों की सेहत पर नकारात्मक प्रभाव डालता है, क्योंकि यह कैल्शियम को सही से हड्डियों को पोषण प्रदान नहीं करने देता है और हड्डियों को कमजोर बनाता है। इस कारण महिलाओं में फ्रैक्चर और हड्डियों के टूटने का खतरा बढ़ जाता है।
2. हार्ट हेल्थ पर असर
मेनोपॉज के बाद महिलाओं में दिल के रोगों का रिस्क पहले से अधिक बढ़ जाता है। एस्ट्रोजन हार्मोन हृदय को सुरक्षित रखने में मदद करता था, लेकिन इसके स्तर में कमी होने के कारण बीपी, कोलेस्ट्रॉल लेवल और अन्य हृदय रोगों का खतरा बढ़ता है। शराब इस काम को करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।
3. वजन बढ़ना
मेनोपॉज के बाद महिलाओं का मेटाबॉलिज्म स्लो हो जाता है, जो शरीर में फैट जमा होने की प्रक्रिया को तेज कर देता है। शराब में कैलोरी अधिक होती है, जो वजन बढ़ने में योगदान करती है। ज्यादा वजन का शरीर पर प्रभाव पड़ता है। इस प्रभाव से डायबिटीज, हृदय रोग और हाई बीपी की समस्या होती है।
जरूरी सलाह
मेनोपॉज के बाद महिलाओं के लिए शराब खतरनाक हो सकती है। यह हड्डियों, हृदय, मेंटल हेल्थ और कैंसर के जोखिम को बढ़ा सकती है। इस समय में महिलाओं को अपनी सेहत का विशेष रूप से ध्यान रखना होता है और शराब के सेवन से बचने की कोशिश करनी चाहिए। अगर शराब का सेवन करना भी हो, तो इसे सीमित मात्रा में करना चाहिए। डॉ. उषा प्रियंबदा, सीनियर कंसल्टेंट, प्रसूति-स्त्री रोग एवं रोबोटिक सर्जरी, एशियन अस्पताल बताती हैं कि महिलाओं को स्वस्थ जीवनशैली अपनानी चाहिए, जिसमें नियमित व्यायाम, संतुलित आहार और मानसिक शांति शामिल हो, ताकि वे मेनोपॉज के बाद बेहतर स्वास्थ्य प्राप्त कर सकें।
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