---विज्ञापन---

बिजनेस

HDFC Bank ने शेयर अदला-बदली में HDFC Ltd के शेयरधारकों को 311 करोड़ से अधिक शेयर किए अलॉट

HDFC Bank-HDFC Merger: HDFC Bank ने शुक्रवार को कहा कि उसने विलय की गई इकाई HDFC Ltd के शेयरधारकों को बैंक के 311 करोड़ से अधिक नए शेयर आवंटित किए हैं। शेयर आवंटन समामेलन की समग्र योजना के हिस्से के रूप में घोषित स्वैप अनुपात के अनुसार किया गया था। योजना के अनुसार, प्रत्येक एचडीएफसी […]

Author Edited By : Nitin Arora Updated: Jul 14, 2023 19:40
HDFC share

HDFC Bank-HDFC Merger: HDFC Bank ने शुक्रवार को कहा कि उसने विलय की गई इकाई HDFC Ltd के शेयरधारकों को बैंक के 311 करोड़ से अधिक नए शेयर आवंटित किए हैं। शेयर आवंटन समामेलन की समग्र योजना के हिस्से के रूप में घोषित स्वैप अनुपात के अनुसार किया गया था। योजना के अनुसार, प्रत्येक एचडीएफसी शेयरधारक को उनके प्रत्येक 25 शेयरों के लिए एचडीएफसी बैंक के 42 शेयर मिलने हैं।

बैंक ने एक नियामक फाइलिंग में कहा, ‘आज एचडीएफसी बैंक ने योजना में दिए गए शेयर विनिमय अनुपात के अनुसार एचडीएफसी बैंक के 1 रुपये के 3,11,03,96,492 नए इक्विटी शेयर आवंटित किए हैं। यह एचडीएफसी लिमिटेड के ऐसे पात्र शेयरधारकों के लिए जिनके पास रिकॉर्ड तिथि तक शेयर थे।’

---विज्ञापन---

इसमें कहा गया है कि आवंटित इक्विटी शेयरों को स्टॉक एक्सचेंजों पर सूचीबद्ध किया जाएगा और सभी मामलों में एचडीएफसी बैंक के मौजूदा इक्विटी शेयरों के बराबर रैंक दिया जाएगा।

एचडीएफसी बैंक ने समान नियमों और शर्तों पर उत्तराधिकारी के रूप में बैंक के नाम पर एचडीएफसी लिमिटेड द्वारा जारी 1,47,57,600 वारंटों को जारी रखने की मंजूरी दे दी है। बता दें कि हाउसिंग फाइनेंस प्रमुख एचडीएफसी का 1 जुलाई को अपनी सहायक कंपनी एचडीएफसी बैंक में विलय हो गया।

---विज्ञापन---

अप्रैल 2022 में, HDFC बैंक ने लगभग 40 बिलियन डॉलर के सौदे में देश के सबसे बड़े बंधक ऋणदाता हाउसिंग डेवलपमेंट फाइनेंस कॉरपोरेशन (HDFC) का अधिग्रहण करने की घोषणा की।

अब जब डील हो जाने के बाद HDFC बैंक का 100% स्वामित्व सार्वजनिक शेयरधारकों के पास होगा और एचडीएफसी के मौजूदा शेयरधारकों के पास बैंक का 41% स्वामित्व होगा।

ग्राहकों को क्या फायदा होगा?

दरअसल, पहले ग्राहकों को एचडीएफसी और एचडीएफसी बैंक की सेवाओं का लाभ लेने के लिए अलग-अलग ब्रांच में जाना पड़ता था, लेकिन अब यह एक ही ब्रांच में मुमकिन हो सकेगा। वहीं, दोनों के एक होने से बैंक की कैपिटल पहले से ज्यादा बढ़ जाएगी। तो ऐसे में फिर अधिक जोखिम वाले लोन भी दिए जा सकेंगे। इसके अलावा ग्राहकों को पहले की तरह सभी सेवाएं मिलती रहेंगी।

First published on: Jul 14, 2023 07:40 PM

संबंधित खबरें