Airtel, VI AGR Dues Status: टेलिकॉम सेक्टर इस समय Airtel, VI के लिए कई समस्याओं से घिरा हुआ नजर आ रहा है। कंपनियों को जहां एक तरफ अपनी स्थिति बाजार में मजबूत करनी है, वहीं दूसरी तरफ AGR यानी एडजस्टेड ग्रॉस रेवेन्यू का बकाया चुकाना है। Airtel, VI का नाम इसलिए क्योंकि ये मामला साल 2015 से जुड़ा हुआ है। JIO के ऊपर सिर्फ 631 करोड़ का AGR का बकाया था, जिसे कंपनी चुका चुकी है। एयरटेल, VI की बात करें तो Airtel के ऊपर 43,980 करोड़ रुपए, VI के ऊपर 58,254 करोड़ रुपए का बकाया था।
Airtel की प्लानिंग ऑफशोर बॉन्ड पर
हालांकि VI 7,854 करोड़ रुपये AGR का भुगतान कर चुकी है। अभी ET की रिपोर्ट के अनुसार साल 2015 के स्पेक्ट्रम के लिए कंपनी 1 बिलियन डॉलर, करीब 8500 करोड़ रुपए के ऑफशोर बॉन्ड जारी कर सकता है। इससे कंपनी अपने कर्ज के साथ, 5G तकनीक को रोलआउट करने में कर सकती है। आपको बताते चलें कि साल 2015 में Airtel ने 111.6 करोड़ रुपए के मेगाहर्ट्ज स्पेक्ट्रम खरीदे थे। जिसकी कीमत 29,130.20 करोड़ रुपये रही थी।
कंपनी कर चुकी है कई भुगतान
इसके लिए कंपनी ने उसी समय 7,832.58 करोड़ रुपये का एडवांस भुगतान कर दिया था। वहीं इसके बाद मार्च 2022 में 8,815 करोड़ रुपए, जुलाई 2023 में 8,024 करोड़ के भुगतान कर दिया था। कंपनी का मानना है कि अगर मार्केट में अपनी पॉजिशन को मजबूत करना है तो फिर 5G तकनीक को मजबूत के साथ आगे बढ़ाना होगा। लेकिन एक बात ये भी है AGR की रकम कहीं ना कहीं समस्या खड़ी कर रही है।
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मार्केट की स्थिति पर नजर
देखने वाली बात रहती है कि किस तरह से VI और Airtel टेलिकॉम सेक्टर में अपनी मजबूती बना पाते हैं, क्योंकि दूसरी तरफ जियो के पास ज्यादा देनदारी नहीं है, साथ में कस्टमर बेस भी कंपनी का मजबूत हो रहा है। साथ ही कंपनी एक साथ कई सेक्टर में अच्छा प्रदर्शन कर रही है।