Car Fire Accident: अकसर मीडिया में चलती कार में आग लगने की खबरें हेडलाइन बनती हैं। सीएनजी कार में आग लगने का खतरा अधिक बताया जाता है। लेकिन अगर हम कुछ मामूली सावधानियां बरतें तो कार में आग लगने की इन हादसों से बचा जा सकता है। आइए आपको कार में आग लगने से बचने के कुछ उपाए बताते हैं।
इंजन की ओवर हीटिंग और फ्यूल लीक होना
जानकारी के मुताबिक कार में आग इंजन की ओवर हीटिंग, फ्यूल का लीक होने, कार की वायरिंग में शार्ट-सर्किंग होने से लगती है। इससे बचने के लिए हमें कार में तय मानक से अधिक एसेसरीज नहीं लगवानी चाहिए। कार की वायरिंग में छेड़छाड़ आग लगने का एक कारण है।
सहीं जगह से गाड़ी की सर्विस करवानी चाहिए
हमें हमेशा अधिकृत सर्विस सेंटर पर से ही गाड़ी की सर्विस करवानी चाहिए। अगर कार में सीएनजी किट है तो उसके सिलेंडर की हर पांच साल में हाइड्रो टेस्टिंग करानी चाहिए। इससे सिलेंडर की क्षमता का पता चल जाता है। सीएनजी कार में समय-समय पर कार के पुर्जों की जांच करवाते रहना चाहिए। सीएनजी कार में कार के पार्ट्स खराब होने के चांस अधिक होते हैं।
250 किलोमीटर लगातार चलाने के बाद 15 मिनट का ब्रेक
कार में छोटा फायर एस्टिंगुशर रखना भी बेहद अच्छा विकल्प है। कार में मॉडिफाई कर लगवाई लाइट, हूटर, डबल हार्न, साउंड फिटिंग आदि की समय-समय पर जांच करवाएं। इनमें शार्ट-सर्किट का खतरा अधिक होता है। कार को लंबी ड्राइव पर 250 किलोमीटर लगातार चलाने के बाद 15 मिनट का ब्रेक लें। लगातार कई घंटों तक एसी या ब्लोअर न चलाएं। लंबे रूट पर घर्षण से टायर भी गर्म हो जाते हैं।