Mahashivratri: शिवरात्रि भगवान भोलेनाथ की आराधना का पर्व है। हिंदू पंचांग के अनुसार फाल्गुन माह में आने वाली शिवरात्रि को ही महाशिवरात्रि कहा जाता है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार इस दिन भगवान शिव और मां पार्वती का विवाह हुआ था। इसलिए भी इस दिन का विशेष महत्व है।
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आचार्य अनुपम जौली के अनुसार महाशिवरात्रि को किए गए उपायों को अनंत गुणा फल मिलता है। इन उपायों के द्वारा भक्त कालसर्पदोष से भी मुक्ति पा सकते हैं। इस बार महाशिवरात्रि 18 फरवरी 2023 को आएगी। इस दिन शनि प्रदोष तथा सर्वार्थ सिद्धि योग भी बन रहा है। ऐसे में कुछ उपाय करके कालसर्प दोष के अशुभ प्रभावों को शुभ प्रभाव में बदला जा सकता है। जानिए शिवजी के कुछ उपायों के बारे में
महाशिवरात्रि पर इन उपायों से दूर होगा कालसर्प दोष का प्रभाव (Mahashivratri and Kaal Sarp Dosh Ke Upay)
- महाशिवरात्रि पर रुद्राभिषेक कर भगवान शिव की पूजा करनी चाहिए। इससे कालसर्प दोष के समस्त अशुभ प्रभाव नष्ट हो जाते हैं।
- यदि इस दिन उज्जैन के महाकालेश्वर या नासिक के त्र्यंबकेश्वर ज्योतिर्लिंग अथवा प्रयागराज के तक्षकेश्वर महादेव मंदिर में पूजा की जाए तो भी कालसर्प दोष पूरी तरह से नष्ट हो जाता है।
- महाशिवरात्रि के दिन यदि महामृत्युंजय मंत्र का 51000 बार जप कर लिया जाए तो भी कालसर्प दोष से हमेशा के लिए मुक्ति मिल जाती है।
डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है। किसी भी उपाय को करने से पहले संबंधित विषय के एक्सपर्ट से सलाह अवश्य लें।