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G20 Virtual Summit 2023 में PM मोदी ने उठाया Deepfake का मुद्दा; बोले-समाज के लिए जहर है ये

PM Narendra Modi in G20 Virtual Summit 2023 : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को जी-20 वर्चुअल सम्मिट 2823 में आर्टिफिशल इंटेलिजेंस, पश्चिम एशिया के हालात पर खुलकर चर्चा की।

Edited By : Balraj Singh | Updated: Nov 22, 2023 20:26
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PM Narendra Modi in G20 Virtual Summit 2023 : दुनिया के सबसे लोकप्रिय राजनेताओं में शुमार भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को G20 सम्मेलन 2023 के वर्चुअल संस्करण को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने डीपफेक, पश्चिम एशिया की अस्थिरता और ग्लोबल साउथ जैसे अहम मुद्दों पर अपना पक्ष रखा। उन्होंने डीपफेक (Deepfake) और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) को समाज के लिए जहर बताया और कहा कि हमें इस पर आगे काम करना होगा। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस सामाजिक सुरक्षा की भावना के साथ आम लोगों तक पहुंचनी चाहिए।

मोदी ने कहा-दुनिया में तरह-तरह की चुनौतियां

जी-20 वर्चुअल शिखर सम्मेलन को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि आज दुनिया में तरह-तरह की चुनौतियां हैं और इनसे लड़ने के लिए-जीतने के लिए हमारा आपसी विश्वास ही है, जो हमें एक-दूसरे से जोड़कर रखता है। ग्लोबल साउथ के देशों को बिना अपनी गलती होते हुए कई मुश्किलों से गुजरना पड़ रहा है। 21वीं सदी के विश्व को इन चिंताओं को प्राथमिकता देनी होगी। विकास एजेंडे को अपना पूर्ण समर्थन देना हमारे लिए समय की मांग है। उन्होंने कहा, ‘जब मैंने इस वर्चुअल समिट का प्रस्ताव रखा था, तब मुझे पूर्वानुमान नहीं था कि आज की वैश्विक स्थिति कैसी होगी’।

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‘आतंकवाद किसी को भी स्वीकार्य नहीं’

मोदी ने कहा कि हम में से किसी को भी आतंकवाद स्वीकार्य नहीं है। लोगों की मौत चाहे कहीं पर भी, यह निंदनीय ही है। पश्चिम एशिया में पैदा हुए असुरक्षा और अस्थिरता के हालात हम सबके लिए बड़ी चिंता हैं। आज हम सबका एक मंच पर आना यह साबित करता है कि इन मुद्दों के समाधान के लिए एक-दूसरे के साथ खड़े हैं। हमें ये सुनिश्चित करना होगा कि चरमपंथी संगठन हमास और इजराइल की सत्ता के बीच छिड़ी लड़ाई कहीं क्षेत्रीय रूप न ले ले। इसी के साथ उन्होंने इस जंग में विराम आने और बंधकों की रिहाई की खबर पर संतोष व्यक्त किया।

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इस सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर कहा कि दुनियाभर में इसके दुरुपयोग की चिंताएं हैं। भारत की सोच इस पर एकदम शीशे की तरह साफ है कि हमें इसके लिए वैश्विक स्तर पर नियमन की दिशा में काम करना चाहिए। इसे समाज के लिए सुरक्षित बनाते हुए जन-जन तक पहुंचाना एक अहम पहलू है। अगले महीने भारत में प्रस्तावित ग्लोबल एआई पार्टनरशिप समिट का जिक्र करते हुए उन्होंने उम्मीद जताई कि सभी देश इसमें अपेक्षित सहयोग देंगे।

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Written By

Balraj Singh

First published on: Nov 22, 2023 08:04 PM
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