American Airlines Unique Term For Job To Girls: कंपनियां नौकरी देने के लिए अनुभव और काम करने की दक्षता देखते हैं। अपनी सहूलियत के अनुसार, कंपनियां जॉब देने के लिए शर्तें भी रखती हैं, लेकिन एक कंपनी ने लड़कियों को नौकरी देने के लिए ऐसी अजीबोगरीब शर्त रखी कि पूरी दुनिया चौंक गई। लोगों का कहना है कि ऐसी नौकरी करने से अच्छा है कि लड़कियां घर बैठ जाएं। वहीं मामला कोर्ट भी पहुंच गया है। 2 लड़कियों ने कंपनी के खिलाफ कोर्ट में याचिका दायर की, जिस पर सुनवाई होनी है। मामले में अभी तक कंपनी की तरफ से अभी तक कोई प्रतिक्रिया नहीं दी गई है।
यह भी पढ़ें: एक ऐसा गांव… जहां बिसनेस करने के लिए मिलेंगे 26 लाख, मगर पूरी करनी होगी ये शर्त
यह भी पढ़ें: Flight छूटी तो महिला खड़ी हो गई प्लेन के सामने, मौके पर पायलट ने देख लिया वरना हो जाता हादसा: Video
अनुभव और दक्षता को दरकिनार कर रही कंपनी
लॉस एंजिल्स टाइम्स और न्यूयॉक पोस्ट के अनुसार, बात हो रही है, अमेरिका की यूनाइटेड एयरलाइंस की, जिस पर लड़कियों को नौकरी देने में भेदभाव करने का आरोप लगा है। दरअसल, कंपनी का कहना है कि एयरलाइंस में उन्हीं लड़कियों को नौकरी दी जाएगी, जिनकी आंखें नीली होंगी। जो पतली और जवान होंगी। कंपनी की पहली पसंद नीली आंखों वाली लड़कियां होंगी। ऐसी शर्त रखकर कंपनी काम करने के अनुभव और काम करने की दक्षता को दरकिनार कर रही है। प्रोफेशनल और कॉलेज स्पोर्ट्स टीमों को सर्विस देने वाली कंपनी चार्टर फ्लाइट्स में अटेंडेंट की नौकरी के लिए यह शर्त रखी गई है।
यह भी पढ़ें: बिट्रेन में मिली 63 साल पुरानी जंग ली मर्सिडीज, करीब 2 करोड़ रुपए में हो सकती है नीलामी
कंपनी ने 2 अटेंडेंट को नौकरी से निकाल दिया
न्यूयॉर्क पोस्ट के अनुसार, एयरलाइंस की 2 फ्लाइट अटेंडेंट ने मुद्दा उठाया। उन्होंने गत 25 अक्टूबर को कोर्ट में याचिका दायर की। उन्होंने याचिका में बताया कि उन्हें लॉस एंजिल्स डोजर्स बेसबॉल टीम के लिए चार्टर फ्लाइट्स पर काम करने की अनुमति नहीं दी गई। कंपनी ने तर्क दिया कि खिलाड़ी ऐसी अटेंडेंट पसंद करते हैं, जो जवान, पतली, गोरी और नीली आंखों वाली हों। 50 साल की डोन टोड और 44 साल की डार्बी क्यूजादा ने आरोप लगाया है। दोनों ने कहा कि उन्होंने कंपनी को 15 साल दिए, लेकिन उन्हें बाहर का रास्ता दिखा दिया गया। इसलिए उन्होंने लॉस एंजिल्स काउंटी सुपीरियर कोर्ट में याचिका दायर की है, क्योंकि कंपनी अपने कर्मियों के साथ नस्ल, जन्म, स्थान, धर्म और उम्र के आधार भेदभाव करती है।