ज्योतिष शास्त्र में केतु को रहस्यमय ग्रह माना गया है, जिसका संबंध आध्यात्म, मोक्ष, वैराग्य और तंत्र-मंत्र से है। जिन लोगों की कुंडली में केतु ग्रह की स्थिति कमजोर होती है, वो नकारात्मकता की और आकर्षित होते हैं। व्यक्ति का मन गलत चीजों की तरफ भटकता है और वो तंत्र-मंत्र का सहारा लेने लगता है। हालांकि कुंडली में जब केतु ग्रह की जगह बदलती है तो उसके कारण भी जीवन में बदलाव आते हैं।
वैदिक पंचांग की गणना के अनुसार, 18 मई 2025 से लेकर 5 दिसंबर 2026 तक केतु ग्रह सिंह राशि में रहेंगे, जिस दौरान मेष राशिवालों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ेगा। 18 मई 2025 को केतु का गोचर मेष राशिवालों के 5वें भाव में हुआ है, जो उनके लिए शुभ नहीं है। बता दें कि 5वें भाव का संबंध प्यार, संतान और शिक्षा से होता है।
केतु गोचर के दौरान मेष राशिवालों के मन में भय और चिंता बनी रहेगी। तंत्र-मंत्र की और आपकी रुचि बढ़ सकती है। किसी को पैसे उधार दिए हैं तो उन्हें मिलने में परेशानी होगी। इसके अलावा पैसों की कमी भी रहेगी। यदि आप जानना चाहते हैं कि आने वाले दिनों में मेष राशिवालों को किन-किन मामलों में सावधान रहना होगा तो इसके लिए ऊपर दिए गए वीडियो को देखें।
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डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष शास्त्र पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।