UP Nikay Chunav: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में निकाय चुनावों (Nikay Chunav) में ओबीसी आरक्षण (OBC Reservation) को लेकर प्रदेश सरकार को सुप्रीम राहत मिली है। सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने बुधवार को शहरी स्थानीय निकाय चुनावों में अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) आरक्षण मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट के आदेश पर रोक लगा दी।
जानकारी के मुताबिक यह राहत मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से 29 दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट जाने के बाद मिली है।
27 दिसंबर को हाईकोर्ट ने दिया था आदेश
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार इलाहाबाद हाईकोर्ट के आदेश का विरोध करते हुए राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका (SLP) दायर की थी। बता दें कि 27 दिसंबर को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने राज्य प्रशासन को ओबीसी आरक्षण के लिए कोई समझौता किए बिना शहरी स्थानीय निकायों के चुनाव कराने का निर्देश दिया था।
Supreme Court stays Allahabad High Court’s order directing the Uttar Pradesh government to hold local urban bodies elections in the State by January without granting reservation to OBCs. pic.twitter.com/SzeCaTzdit
---विज्ञापन---— ANI (@ANI) January 4, 2023
प्रदेश सरकार ने बनाया है ओबीसी आयोग
इसके बाद प्रदेश सरकार की ओर से सुप्रीम कोर्ट जाने का फैसला किया गया। साथ ही सरकार ने पांच सदस्यीय आयोग का भी गठन किया है। इस आयोग के अध्यक्ष न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) राम अवतार सिंह (Retd Justice Ram Avtar Singh) हैं।
इनके अलावा सदस्यों में रिटायर्ड आईएएस चोब सिंह वर्मा और महेद्र कुमार शामिल हैं। पूर्व विधि परामर्श विशेषज्ञ संतोष कुमार विश्वकर्मा और पूर्व अपर जिला जज ब्रजेश कुमार सोनी को भी इसका सदस्य बनाया गया है।
हाईकोर्ट ने दिया था चुनाव कराने का आदेश
जानकारी के मुताबिक इस आयोग की अवधि पदभार ग्रहण करने के दिन से छह महीने तक के लिए होगी। बता दें कि आयोग का गठन इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ पीठ की ओर से निकाय चुनावों के लिए राज्य सरकार की ओर से जारी आरक्षण अधिसूचना को रद्द करने और ओबीसी आरक्षण के बिना चुनाव कराने का आदेश एक दिन बाद किया गया है।