नोएडा प्राधिकरण बकाएदार बिल्डरों पर अब बड़ा एक्शन लेने की तैयारी की है। गुरुवार को प्राधिकरण ने आवासीय प्लॉट के 3 बड़े आवंटियों के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया है। बकाया राशि जमा न करने पर प्राधिकरण ने इन प्लॉटों की भू-राजस्व की तरह वसूली के निर्देश दिए हैं। बताया जा रहा है कि सीईओ लोकेश एम अब बकाएदारों से सख्ती से पेश आएंगे।
कई बार जारी किए गए नोटिस
ग्रुप हाउसिंग प्लॉट संख्या जीएच-2 सेक्टर-78, महागुन रियल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड को 18 अप्रैल 2010 को आवंटित किया गया था। 18 मई 2010 को लीज डीड करवाकर भूमि पर कब्जा दे दिया गया था। बिल्डर को बकाया राशि जमा करने के लिए नोटिस जारी किए गए थे, लेकिन बकाया राशि जमा नहीं की गई। इतना ही नहीं, सरकारी आदेश के तहत 21 दिसंबर 2023 को कोविड-19 का लाभ दिया गया। इसके बाद कुल बकाया राशि का 25 प्रतिशत जमा करने को कहा गया। यह धनराशि भी जमा नहीं की गई। आवंटी पर 31 अगस्त तक 116.96 करोड़ रुपये बकाया हैं।
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सरकारी आदेश का लाभ लेकर भी नहीं चुकाया बकाया
ग्रुप हाउसिंग प्लॉट संख्या GH-1, सेक्टर-77, मेसर्स प्रतीक रियल्टर्स प्राइवेट लिमिटेड को 31 मार्च 2010 को आवंटित किया गया था। 26 मई 2010 को लीज डीड बनाकर जमीन सौंप दी गई। सरकारी आदेश के तहत कोविड-19 का लाभ दिया गया और 25 प्रतिशत धनराशि जमा करने को कहा गया। 31 अगस्त 2025 तक बिल्डर पर कुल 162.27 करोड़ रुपये बकाया हो गए। गुरुवार को डीएम गौतमबुद्ध नगर को वसूली के लिए पत्र भेजा गया।
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74.18 करोड़ रुपये बकाया
ग्रुप हाउसिंग प्लॉट संख्या जीएच-1 सेक्टर-120, प्रतीक रियल्टर्स प्राइवेट लिमिटेड को 10 दिसंबर 2009 को आवंटित किया गया था। 7 जनवरी 2010 को लीज डीड बनाकर जमीन आवंटित की गई थी। आवंटियों को बकाया राशि जमा करने के लिए नोटिस जारी किए गए थे। शासनादेश के तहत कोविड-19 का लाभ दिया गया था। साथ ही, कुल बकाया राशि का 25 प्रतिशत जमा करने को कहा गया था। यह पैसा भी जमा नहीं किया गया। इस पर कुल 74.18 करोड़ रुपये बकाया हैं। आरसी के लिए पत्र भेजा गया था।