Etah Violence : यूपी के संभल में अभी बवाल थमा नहीं है। इस बीच एटा में एक नया मामला सामने आ गया, जहां हिसंक झड़प हो गई। इसे लेकर पूरे जिले में तनावपूर्ण माहौल व्याप्त है। भीड़ ने यहां भी जमकर उत्पात मचाया। इस घटना के बाद पूरे इलाके में पुलिस की तैनाती बढ़ा दी गई है। पुलिस ने 150 से अधिक लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया।
एटा के जलेसर कस्बे में एक दरगाह के पास निजी जमीन पर निर्माण हो रहा था। इस दौरान कुछ लोगों ने इसका विरोध कर दिया। उन्होंने दावा कि यह वक्फ बोर्ड की संपत्ति है। इस पर विवाद काफी बढ़ गया और दोनों गुट आपस में भिड़ गए। इस घटना में कई लोग घायल हो गए और संपत्ति को भी काफी नुकसान पहुंचा है।
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जानें कैसे हुआ विवाद?
रफीक की अगुवाई में भीड़ ने एक दरगाह के पास स्थित जमीन पर निर्माण कार्यों को रोकने की कोशिश की तो विवाद बढ़ गया। पुलिस के अनुसार, इस जमीन के मालिक अनिल कुमार उपाध्याय और अन्य लोग हैं, लेकिन भीड़ का दावा है कि उक्त संपत्ति वक्फ बोर्ड की है। इसके बाद भीड़ ने हथौड़ों से चारदीवारी को गिरा दिया और पथराव किया। साथ ही उपद्रवियों ने एक दर्जन से अधिक वाहनों को क्षतिग्रस्त कर दिया।
घटनास्थल पर पहुंचे एसएसपी-एएसपी
बवाल की सूचना मिलने पर एसएसपी श्याम नारायण सिंह और एएसपी राजकुमार सिंह पुलिस के साथ मौके पर पहुंचे और क्षेत्र में शांति बहाल करने के लिए पीएसी कर्मियों सहित बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया। एसडीएम विपिन कुमार मोरल ने कहा कि विवादित भूमि निजी पैतृक संपत्ति है, जिसकी पुष्टि राजस्व अभिलेखों से की जा रही है।
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एटा हिंसा मामले में दो आरोपी गिरफ्तार
इस मामले में पुलिस ने दो मुख्य आरोपी रफीक और फरमान उर्फ बंटी को गिरफ्तार कर लिया। साथ ही रफीक सहित 16 अन्य आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई। आरोप है कि एक आरोपी ने शिकायतकर्ता का गला घोंटने की कोशिश की थी। सीओ नीतीश गर्ग ने कहा कि पथराव और तोड़फोड़ में शामिल लोगों की पहचान वायरल वीडियो के जरिए की जा रही है। सभी दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। स्थिति नियंत्रण में है और शांति बहाल हो गई है।