मुंबई: मुंबई में शिवसेना यूबीटी पार्टी को सीएम शिंदे एक एक कर झटके पर झटका दे रहे हैं। हाल ही में उद्धव गुट की विधायक मनीषा क़ायंदे ने पार्टी के कुछ नेताओं पर आरोप लगाते हुए शिवसेना शिंदे गुट को अपना नया मक़ाम बनाया था। अब शिवसेना के नेता अनिल परब और आदित्य के मौसेरे भाई वरुण सरदेसाई की पार्टी के अंदर चल रही अंदरूनी राजनीति से परेशान होकर युवा सेना के एग्जीक्यूटिव मेम्बर राहुल कनाल कल 1 जुलाई को शिंदे की शिवसेना में शामिल होने का फ़ैसला किया है।
राहुल कनाल आदित्य ठाकरे के बेहद क़रीबियों में से एक जाने जाते हैं। शिवसेना ने उन्हें बीएमसी एजुकेशन कमेटी का सदस्य बनाया था। साल 2019 में उद्धव ठाकरे मुख्यमंत्री बनने के बाद कनाल को श्री शिरडी साई बाबा ट्रस्ट का सदस्य बनाया गया था। युवा सेना का आंदोलन हो या फिर शिवसेना का कोई भी चुनाव राहुल हमेशा युवा सेना प्रमुख आदित्य ठाकरे के साथ दिखाई पड़ते थे।
1 जुलाई को जब आदित्य ठाकरे की अगुवाई में शिवसेना युबीटी पार्टी बीएमसी पर भ्रष्टाचार को लेकर मोर्चा निकालेंगे उसी वक़्त सीएम एकनाथ शिंदे और सांसद श्रीकांत शिंदे की अगुवाई में शिवसेना (शिंदे गुट) में शामिल होंगे। इससे पहले शिवसेना के वरिष्ठ नेता रामदास कदम के बेटे सिद्धेश कदम और बीएमसी के पूर्व पार्षद अमेय घोले ने युवा सेना को अलविदा कह चुके है।
न्यूज़ 24 ने राहुल कनाल से बात की तो उन्होंने बताया कि पार्टी में 2 से 3 नेताओं की सिर्फ़ सुनी जाती है कोई भी शिकायत पार्टी पदाधिकारी की हैसियत से करता हूँ तो उसपर कोई करवाई नहीं होती। कनाल ने बताया की ना तो वो किसी जाँच एजेंसी के डर या प्रलोभन से पार्टी नहीं छोड़ रहे बल्कि पार्टी में उनकी कोई सुनवाई नहीं इसी लिए उन्होंने शिवसेना (शिंदे गुट) में शामिल होने का फ़ैसला किया।