पितृ पक्ष में मल्ल राजा माधव मल्ल, उनके पुत्र राजा नथ मल्ल और फतह बहादुर मल्ल की याद में मधुबन में पूर्वज स्मृति दिवस व श्रद्धांजलि समारोह का आयोजन किया जाता है। यह कार्यक्रम प्राचीन काल से होता रहा है। हर साल की तरह इस बार सरस्वती शिशु मंदिर के प्रांगण में राष्ट्रीय सैंथवार मल्ल स्वाभिमान मोर्चा के तत्वावधान में कार्यक्रम का आयोजन हुआ। इस कार्यक्रम में दुनिया भर के मल्ल वंश के लोग उपस्थित हुए।
इसकी लोकप्रियता हर साल बढ़ रही है। मल्ल सैंथवार स्वाभिमान मोर्चा के तत्वावधान में आयोजित इस कार्यक्रम की अध्यक्षता इंजीनियर मनोज सिंह ने की और कहा की जो भी जातियां के इतिहास को अपनी आने वाले पीढ़ी तक नहीं पहुंचा पाती वो धीरे धीरे खत्म होने लगती है। साथ ही इस मल्ल सैंथवार समागम में उपस्थित लोगों से समाज को ज्यादा से ज्यादा जोड़ने की जिम्मेदारी दिया है और कहा की इतिहास हमारा था और आने वाला कल हमारा होगा इसके लिए लोगो को जागरुक करना होगा।
इस आयोजन पर मल्ल राजपूत समाज से ताल्लुक रखने वाले मीडिया और कैंपेन स्ट्रैटेजिस्ट व घोसी नव निर्माण मंच के संस्थापक बद्री नाथ ने बताया कि मल्ल साम्राज्य का प्राचीन काल में बड़ा ही गौरवशाली इतिहास रहा है। ऐसे समागम सदियों से हर जातियों के द्वारा किए जाते रहे हैं लेकिन मल्ल और सैंथवार समाज के लोगों की सक्रियता से यह समागम अब महा समागम का रूप ले चुका है । आपको बता दें कि मल्ल योद्धा देश और मातृभूमि की सुरक्षा व सशक्तिकरण में सदैव अतुल्य बलिदान देते रहे हैं ।
इस कार्यक्रम को सफल बनाने में बिपिन मल्ल “राजा बाबू”, बृजेश मल्ल, एडवोकेट राघवेंद्र मल्ल, मनोज मल्ल -पाली टेंट, प्रमोद मल्ल- कठघरा,नरेंद्र मल्ल निराला, मानवेंद्र मल्ल, सत्येंद्र मल्ल, माहेश्वरी मल्ल, एडवोकेट रवि प्रकाश मल्ल, रणजीत मल्ल अहिरौली, रणजीत मल्ल लालनपुर, गणेश मल्ल -उसुरी,विनोद मल्ल बहरामपुर आदि ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।