Unique Wedding: अक्सर शादी ब्याह में रिश्तो को सोचने और समझने के बाद ही शादियां तय की जाती हैं, दोनों परिवार एक दूसरे को अच्छे से समझते है उसके बाद ही दो परिवारों में शादी होती है। लेकिन अक्सर इस सब में बहुत पैसा भी खर्च होता है। लेकिन मध्यप्रदेश के बुरहानपुर में ऐसा बिल्कुल भी नहीं हुआ, वो कहावत तो सुनी ही होंगी चट मंगनी पट ब्याह, बुरहानपुर में कुछ ऐसा ही हुआ, जहां सुबह मंगनी हुई और शाम तक शादी हो गई।
‘चट मंगनी पट ब्याह’
लड़की वाले महाराष्ट्र के भुसावल से बुरहानपुर सगाई करने के लिए लड़के के घर पहुंचे थे। जहां सुबह सगाई की रस्म पूरी हुई और शाम में दोनों की शादी भी हो गई। दरअसल, बुरहानपुर के महेश लोहार नाम के लड़के को देखने लड़की वाले आए थे, साथ में लड़की भी थी। लड़का-लड़की ने एक दूसरे को पसंद किया जबकि शादी के लिए दोनों परिवार भी राजी हो गए। जिसके बाद दोनों की सगाई की रस्में पूरी हुई। लेकिन शादी में अनावश्यक खर्च नहीं होना चाहिए, इसी को देखते हुए दोनों परिवारों ने जल्द शादी करने की सहमति बना ली।
दरअसल, महेश के पिता नहीं है, ऐसे में वह अपने मामा के यहां रहता है, उसकी शादी भी मामा ने करवाई। सभी ने यह तय किया की शादी में ज्यादा खर्चा नहीं होना चाहिए। इसलिए सभी ने महेश और योगिता से उनकी राय पूछी। दोनों दूल्हा-दुल्हन ने शादी के लिए हां कर दी। बस फिर क्या था। समाज के लोगों ने आगे आकर सभी व्यवस्थाएं कराई और दोनों की शादी कर दी.
शादी के लिए तैयार थे दोनों परिवार
इस शादी को लेकर आर्य क्षत्रिय लोहार समाज के अध्यक्ष अनिल नवग्रह ने बताया कि दोनों पक्षों को रिश्ता पसंद आ गया था और युवक-युवती ने भी हां कर दी। ऐसे में दोनों पक्षों ने आपसी बातचीत के बाद शादी में होने वाले अनावश्यक खर्च को टालते हुए सगाई वाले दिन ही सादगी से शादी करने का निर्णय लिया। परिजनों ने युवक महेश और युवती योगिता की रजामंदी के बाद बकायदा रीति रिवाज के साथ चट मंगनी पट ब्याह कर दिया।
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शादी में नहीं दिया गया दहेज
शादी में ना दहेज लिया न ही किसी प्रकार की मांग की गई। वही लड़की के मामा महेश वानखेड़े और मामी सोनाली वानखेड़े ने भी उनका विवाह कराने में सहयोग किया। बता दें कि ऐसा विवाह समाज में पहली बार देखने में आया हैं। जिसके लिए लोग दोनों परिवारों की तारीफ कर रहे हैं।