Startup Policy Successfully Implement In Gujarat: साल 2016 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश में स्टार्टअप और इनोवेशन को बढ़ावा देने के लिए ‘स्टार्टअप इंडिया’ पहल की शुरुआत की थी। प्रतिभाशाली कार्यबल, उद्यमशीलता, नवोन्मेषी भावना के साथ डिजिटल बदलाव ने भारत को दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा स्टार्टअप इकोसिस्टम बना दिया है। तकनीकी उन्नति, रोजगार सृजन और आर्थिक सशक्तिकरण के जरिए आत्मनिर्भरता हासिल करने में स्टार्टअप महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
देश में 8 जनवरी 2025 तक उद्योग संवर्धन और आंतरिक व्यापार विभाग-DPIIT द्वारा 1.50 लाख से अधिक स्टार्टअप को मान्यता दी गई है, जिनमें से 12,779 स्टार्टअप गुजरात में रजिस्टर्ड किए गए हैं। भारतीय स्टार्टअप इकोसिस्टम में स्टार्टअप्स की संख्या 33 गुना बढ़कर 4,200 से 1,54,719 हो गई। इसके अलावा कुल 118 यूनिकॉर्न के साथ भारत एक स्टार्टअप हब बन गया है। इसके अलावा, रुपये की स्टार्टअप फंडिंग। 450 बिलियन डॉलर और सहायक स्टार्टअप नीतियों वाले राज्यों की कुल संख्या 31 हो गई है।
दिसंबर 2024 तक गुजरात में 12,500 से ज्यादा स्टार्टअप को स्टार्टअप इकोसिस्टम के तहत मान्यता दी गई है। फिलहाल अहमदाबाद में 5,269, सूरत में 1,903, वडोदरा में 1,344, राजकोट में 1,172, गांधीनगर में 601 स्टार्टअप शुरू हो चुके हैं। इसमें 1,343 के साथ स्वास्थ्य सेवा और जीवन विज्ञान, 1,186 के साथ आईटी सेवाएं और 819 के साथ कृषि जैसे शीर्ष क्षेत्र शामिल हैं।
गुजरात यंग एंटरप्रेन्योर्स वेंचर फंड
गुजरात सरकार द्वारा “गुजरात यंग एंटरप्रेन्योर्स वेंचर फंड” की स्थापना की गई है, जिसमें राज्य सरकार ने अब तक लगभग रुपये का निवेश किया है। 350 करोड़ का योगदान दिया गया है। देश के सुदूर इलाकों तक उद्यमियों को स्टार्टअप के जरिए आत्मनिर्भर बनने और बड़े पैमाने पर रोजगार पैदा करने के लिए हर साल एक डेट फाइनल की जाती है। 16 जनवरी को “राष्ट्रीय स्टार्ट अप दिवस” मनाया जाता है।
मुख्यमंत्री भूपेन्द्र पटेल के मार्गदर्शन और उद्योग मंत्री बलवंतसिंह राजपूत के नेतृत्व में गुजरात भी स्टार्टअप इकोसिस्टम में महत्वपूर्ण योगदानकर्ता बन गया है। जिसके अंतर्गत राज्य के उद्यमियों को राज्य नोडल संस्थानों, इन्क्यूबेटरों, एक्सेलेरेटर, सलाहकारों, निवेशकों, सरकारी निकायों और अन्य हितधारकों द्वारा अलग-अलग सुविधाएं प्रदान की जाती हैं।
साल 2017 में गुजरात को स्टार्टअप इंडिया कार्यक्रम के प्रभावी अमल के लिए लोक प्रशासन में श्रेष्ठ के लिए प्रधान मंत्री पुरस्कार 2017 मिला है। इसके अलावा, राज्य को लगातार 4 साल यानी 2018, 2019, 2020-2021 और 2022 में राज्य स्टार्टअप रैंकिंग में “बेस्ट परफॉर्मर” का पुरस्कार भी मिला।
स्टार्टअप क्षेत्र में राज्य के युवाओं को अधिकतम प्रोत्साहन देने के लिए गुजरात सरकार द्वारा पीपीपी आधार पर आईक्रिएट सेंटर की स्थापना की गई है, जिसे साल 2020 में टेक्नोलॉजी बिजनेस इनक्यूबेटर के लिए प्रतिष्ठित राष्ट्रीय पुरस्कार भी मिला।
iCreate को हाल ही में बैंगलोर में आयोजित ग्लोबल क्लीन मोबिलिटी समिट के हिस्से के रूप में “इम्पैक्ट इनक्यूबेटर ऑफ द ईयर 2024” से सम्मानित किया गया था। iCreate ने 553 से अधिक स्टार्टअप्स को वित्तीय सहायता दी है। इसके अलावा, iCreate एंजेल फंड से स्टार्टअप विकसित करने के लिए 100 करोड़ रुपये का उपयोग किया जा रहा है।
राज्य के स्टार्टअप इकोसिस्टम को मजबूत करने के लिए मुख्यमंत्री भूपेन्द्र पटेल ने 5 दिसंबर 2023 को “गुजरात स्टूडेंट्स स्टार्टअप एंड इनोवेशन हब (I-Hub) कॉम्प्लेक्स का उद्घाटन किया। 60 करोड़ से अधिक की लागत से निर्मित आई-हब सेंटर को 1.50 लाख वर्ग फीट क्षेत्र में डिजाइन किया गया है, जहां 700 से ज्यादा स्टार्टअप रजिस्टर्ड हैं। राज्य सरकार स्टूडेंट स्टार्टअप एंड इनोवेशन पॉलिसी (SSIP) के जरिए 10 करोड़ से अधिक का वित्तीय वितरण भी किया जा चुका है।