Raipur News: छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने गुरुवार को बलरामपुर-रामानुजगंज जिले में स्थित लुत्ती बांध के टूटने की घटना पर गहरी नाराज़गी व्यक्त की। उन्होंने कड़े शब्दों में चेतावनी देते हुए कहा कि भविष्य में इस तरह की गलती किसी भी स्थिति में बर्दाश्त नहीं की जाएगी। सीएम ने नाराजगी प्रकट करते हुए कहा कि मैदानी अधिकारी और कर्मचारी फील्ड में जाकर नियमित निरीक्षण नहीं कर रहे हैं, जिसके कारण यह स्थिति बनी है। उन्होंने सभी अधिकारियों और कर्मचारियों को फील्ड में जाकर बांधों सहित अन्य संरचनाओं का निरंतर निरीक्षण करने के निर्देश दिए।
सीएम ने ली जल संसाधन विभाग की समीक्षा बैठक
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने गुरुवार को मंत्रालय महानदी भवन में जल संसाधन विभाग की समीक्षा बैठक ली। उन्होंने सिंचाई परियोजनाओं के रखरखाव और मरम्मत पर विशेष ध्यान देने, सभी बांधों की जलभराव क्षमता, वर्तमान सिंचाई स्थिति और आगामी परियोजनाओं की प्रगति आदि के सम्बन्ध में अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। इसके साथ ही विशेष रूप से बांध सुरक्षा अधिनियम 2021 का कड़ाई से पालन करने तथा जिला प्रशासन के साथ प्रभावी समन्वय स्थापित करने के निर्देश भी दिए। सीएम ने लक्षित सिंचाई क्षमता और वास्तविक सिंचाई क्षमता के बीच अंतर को कम करने के लिए ठोस कार्ययोजना बनाने के निर्देश दिए।
यह भी पढ़ें- बदलेगी छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले की सूरत, सीएम ने 211 करोड़ से अधिक के विकास कार्यों का किया लोकार्पण
विभागीय अधिकारियों ने दी परियोजनाओं की जानकारी
सीएम विष्णु देव साय ने विशेषकर बस्तर और सरगुजा संभाग की अधूरी योजनाओं को जल्द पूरा करने और निर्माणाधीन परियोजनाओं को समय पर पूरा करने पर बल दिया, ताकि किसानों को योजनाओं का लाभ समय पर मिल सके। बैठक में विभागीय अधिकारियों ने जानकारी देते हुए बताया कि वर्तमान में 4 परियोजनाएं, 357 लघु परियोजनाएं, 300 एनीकेट समेत इस प्रकार की कुल 661 कार्य प्रगतिरत हैं। इसके अलावा 1036 जीर्णोद्धार कार्य भी चल रहे हैं। इस तरह कुल 1697 कार्य प्रगतिरत हैं। जिनमें लगभग 8966 करोड़ रुपये की धनराशि व्यय होगी। बैठक में मुख्य सचिव अमिताभ जैन, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव सुबोध कुमार सिंह, मुख्यमंत्री के सचिव राहुल भगत, मुख्यमंत्री के संयुक्त सचिव रवि मित्तल, जल संसाधन विभाग के सचिव राजेश सुकुमार टोप्पो, प्रमुख अभियंता इंद्रजीत उईके तथा बस्तर, सरगुजा, बिलासपुर, रायपुर और दुर्ग मंडलों के मुख्य अभियंता सहित जल संसाधन विभाग के अधिकारीगण उपस्थित रहे।
यह भी पढ़ें- छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री ने हजारों युवाओं के साथ लगाई स्वतंत्रता की दौड़