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स्टंप-माइक के जरिए पड़ा बॉल का ‘दूसरा’ नाम, सकलैन मुश्ताक ने किया खुलासा

नई दिल्ली: पाकिस्तान के पूर्व स्पिन के जादूगर सकलैन मुश्ताक अपनी पीढ़ी के बेहतरीन गेंदबाजों में से एक थे। सकलैन को ‘दूसरा’ बॉलिंग के आविष्कार का श्रेय दिया जाता है। दरअसल, ‘दूसरा बॉल’ लेगसाइड से ऑफसाइड की ओर मुड़ती है। यह एक सामान्य ऑफ-ब्रेक जैसी दिखती है, लेकिन बैट की ओर स्पिन करने के बजाय […]

Edited By : Pushpendra Sharma | Updated: Mar 15, 2023 17:30
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Saqlain Mushtaq Doosra
Saqlain Mushtaq Doosra

नई दिल्ली: पाकिस्तान के पूर्व स्पिन के जादूगर सकलैन मुश्ताक अपनी पीढ़ी के बेहतरीन गेंदबाजों में से एक थे। सकलैन को ‘दूसरा’ बॉलिंग के आविष्कार का श्रेय दिया जाता है। दरअसल, ‘दूसरा बॉल’ लेगसाइड से ऑफसाइड की ओर मुड़ती है। यह एक सामान्य ऑफ-ब्रेक जैसी दिखती है, लेकिन बैट की ओर स्पिन करने के बजाय दूसरी तरफ चली जाती है। भारत के पूर्व स्पिनर हरभजन सिंह से लेकर मुश्ताक के सहित कई स्पिनरों ने ‘दूसरा’ गेंदबाजी करने की कला में महारत हासिल की। गेंदबाज इस बॉल को विपरीत दिशा में घुमाता है, बल्लेबाज को भ्रमित करता है जो अक्सर यह सोचकर इसे खेलता है कि यह ऑफ-ब्रेक होगा, लेकिन ये दूसरी ओर घूमकर बल्लेबाज को चकमा दे देती है।

मोइन खान को श्रेय

मुश्ताक ने हाल ही में एक बातचीत के दौरान ‘दूसरा’ बॉलिंग के नाम के बारे में खुलासा किया है। उन्होंने इसके लिए पाकिस्तान के पूर्व कप्तान और विकेटकीपर-बल्लेबाज मोइन खान को श्रेय दिया। मुश्ताक ने नादिर अली के पॉडकास्ट पर कहा- ‘दूसरा’ नाम देने का श्रेय मोइन खान को जाता है। जब मैं गेंदबाजी करता था तो वह विकेटकीपर होते थे। वह कहते थे कि ‘साकी जब भी मैं तुमसे पूछूंगा, तब तुम्हें दूसरा डालना होगा।’ स्टंप-माइक के पास आवाज सीधे कमेंट्री बॉक्स में जाती थी। वहां से कमेंटेटरों ने सोचा कि इस डिलीवरी को ‘दूसरा’ कहा जाता है। अब यह नाम अंग्रेजी शब्दकोश में भी है, जहां इसे परिषाभित किया गया है।

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छत पर अपने भाइयों के साथ खेलते हुए की थी दूसरा बॉलिंग

मुश्ताक ने यह भी याद किया कि कैसे उन्होंने छत पर अपने भाइयों के साथ खेलते हुए सबसे पहले ‘दूसरा’ बॉलिंग डाली थी। उन्होंने कहा- “मेरे घर के पास एक मैदान था, जहां इमरान खान खेला करते थे और उस मैदान के सामने अब्दुल खादिर खेलते। मैं तब छोटा था और इमरान खान के बारे में सुना था, तो वहीं अब्दुल खादिर को जादूगर के रूप में जाना जाता था। इसलिए मैंने सोचा कि मुझे भी अपने एक अलग के साथ एक्शन होना चाहिए।

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उन्होंने कहा- जब ​​मैंने गेंदबाजी शुरू की, तो मैं अपने भाइयों के साथ छत पर टेबल-टेनिस बॉल से खेलता था। मैं टेबल टेनिस बॉल से स्पिन की नई तकनीकों का अभ्यास करता। छत पर और एक दिन मैंने गेंद में एक बहुत ही अलग मोड़ देखा। वहां से मुझे एक विचार आया कि मैं गेंद को बाहर कैसे स्पिन कर सकता हूं।

फिर मैंने इसका अभ्यास शुरू किया टेनिस बॉल और बाद में क्रिकेट बॉल के साथ इसे शुरू कर दिया। दूसरा का अभ्यास करते समय मेरी उंगलियों पर कुछ चोटें भी आईं। मुश्ताक ने 1995 से 2004 के बीच पाकिस्तान के लिए 49 टेस्ट, 169 वनडे खेले। टेस्ट में उन्होंने 208 और वनडे में 288 विकेट चटकाए। वह ओडीआई में 250 विकेट के मील के पत्थर तक पहुंचने वाले सबसे तेज गेंदबाज बने।

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HISTORY

Written By

Pushpendra Sharma

First published on: Mar 15, 2023 05:01 PM

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