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Kaalchakra: कुंडली के किस भाव में मौजूद शुक्र-शनि की युति देती है शुभ फल? जानें पंडित सुरेश पांडेय से

जब भी किसी राशि में शुक्र और शनि ग्रह साथ में विराजमान होते हैं तो उससे युति का निर्माण होता है। चलिए पंडित सुरेश पांडेय से जानते हैं कुंडली के किस भाव में मौजूद शुक्र-शनि की युति शुभ व अशुभ फल देती है।

Author Edited By : Nidhi Jain Updated: May 12, 2025 11:00
Kaalchakra Today News24
शुक्र-शनि की युति से क्या सिर्फ फायदा ही होता है?

शुक्र और शनि दोनों ग्रहों का ही ज्योतिष शास्त्र में खास महत्व है। जब ये दोनों ग्रह साथ में किसी राशि में विराजमान होते हैं तो उससे युति का निर्माण होता है। शुक्र-शनि की युति का प्रभाव एक या दो नहीं बल्कि सभी 12 राशियों की जिंदगी पर पड़ता है। हालांकि शुक्र-शनि की युति हर किसी व्यक्ति के लिए शुभ नहीं होती है।

आज के कालचक्र में प्रश्न कुंडली विशेषज्ञ पंडित सुरेश पांडेय आपको बताने जा रहे हैं कि जन्म कुंडली के किस भाव में शुक्र और शनि की युति का बनना शुभ और अशुभ देता है। साथ ही आपको ये भी पता चलेगा कि युति के दौरान व्यक्ति को किन-किन मामलों में लाभ व नुकसान होने की संभावना अधिक होती है।

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शुक्र-शनि की युति कब देती है शुभ फल?

  • जन्म कुंडली के दूसरे भाव में शुक्र-शनि की युति का बनना शुभ रहता है। इससे व्यक्ति का समाज में नाम होता है और उसे करियर व व्यापार में फायदा होता है। साथ ही मकान, कार और पैतृक संपत्ति आदि के योग भी बनते हैं।
  • कुंडली के दूसरे भाव के अलावा तीसरे भाव में भी शुक्र-शनि की युति के बनने से व्यक्ति को फायदा होता है। ऐसी स्थिति में जातक को पिता से आर्थिक लाभ होता है। जो व्यक्ति जितनी मेहनत करता है, उसे उसका पूरा फल मिलता है। इसके अलावा रिश्तेदारों से संबंध मजबूत रहते हैं। खासकर ससुराल वालों के साथ चल रहा झगड़ा सुलझ जाता है।

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किस परिस्थिति में अशुभ फल देती है शुक्र-शनि की युति?

  • ज्योतिष शास्त्र में बताया गया है कि जिन लोगों का लग्न मेष, कर्क, सिंह, वृश्चिक, धनु और मीन है, उनके लिए शुक्र-शनि की युति का बनना शुभ नहीं रहता है। व्यक्ति किसी न किसी कारण परेशान रहता है। खासकर संबंधों में परेशानियां उत्पन्न होने लगती हैं।
  • जन्म कुंडली में शुक्र-शनि के शुभ स्थिति में विराजमान न होने के कारण भी व्यक्ति को तनाव का सामना करना पड़ता है। जातक बेवजह टेंशन लेता है और उसे अकेलापन सताता है। इसके अलावा उसके वैवाहिक जीवन में भी आए-दिन परेशानियां होने लगती हैं।
  • जन्म कुंडली के पहले भाव में शुक्र-शनि की युति का बनना भी शुभ नहीं होता है। व्यक्ति छोटी-छोटी बातों पर परेशान होने लगता है और उसके दांपत्य जीवन में क्लेश बढ़ता है। इसके अलावा युति का सेहत पर भी अशुभ प्रभाव पड़ता है।

यदि आप जानना चाहते हैं कि शुक्र-शनि की युति और किन-किन परिस्थितियों में शुभ व अशुभ फल प्रदान करती है तो इसके लिए ऊपर दिए गए वीडियो को देखें।

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डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष शास्त्र पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।

First published on: May 12, 2025 10:59 AM

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