उन्नाव रेप केस में भाजपा के पूर्व विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की मुश्किलें बढ़ेंगी. दिल्ली हाईकोर्ट ने हालही उसे राहत दी थी. कोर्ट ने फैसला सुनाया था कि जब तक उसकी सजा के खिलाफ अपील लंबित है, तब तक उसकी सजा को निलंबित कर दिया. अब इस मामले में सीबीआई आगे आई है. रिपोर्ट्स के मुताबिक, सीबीआई ने कहा है कि इस मामले में दिल्ली हाई कोर्ट की डिविजन बेंच के आदेशों का अध्ययन किया गया है. वह जल्द ही हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाएगी.
सीबीआई सेंगर को दी गई राहत के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल करेगी.
2017 Unnao rape case | CBI has studied the orders of the Division Bench of the Delhi High Court in the Unnao Rape Case and has decided to file an SLP before the Supreme Court at the earliest against the orders of the High Court granting bail to the accused K D Sengar by…
— ANI (@ANI) December 25, 2025
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बता दें, दिल्ली हाईकोर्ट ने मंगलवार को सेंगर की उम्रकैद की सजा को निलंबित कर दिया. कोर्ट ने साथ ही सजा के खिलाफ अपील लंबित रहने तक उसे सशर्त जमानत दे दी. राहत की शर्तों में 15 लाख रुपये का मुचलका, दिल्ली में ही रहना, पीड़िता के घर के 5 किमी के दायरे में न आना और परिवार को नहीं डराना-धमकाना शामिल है. हालांकि, पीड़िता के पिता की मौत के मामले में मिली 10 साल की सजा की वजह से सेंगर अभी भी जेल में ही रहेगा.
पीड़िता की मां से की गई थी बदसलूकी
बुधवार को दिल्ली की सड़कों का एक शर्मनाक वीडियो सामने आया था. इस वीडियो में दिखाया गया था कि कैसे अर्धसैनिक बल के जवान रेप पीड़िता की मां के साथ बदसलूकी कर रहे हैं. पीड़िता और उसकी मां आरोपी सेंगर को कोर्ट से मिली राहत के खिलाफ दिल्ली में प्रदर्शन करने आए थे. लेकिन उन्हें ना तो प्रदर्शन करने दिया गया और ना ही मीडिया से बातचीत.
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जो वीडियो सामने आया वो एक बस का था. बस में पीड़िता और उसकी मां को ले जाया जा रहा था. दोनों को एक दिन पहले इंडिया गेट से हिरासत में ले लिया गया था. इसके बाद उन्होंने मंडी हाउस में प्रदर्शन करने का प्लान किया. जब सीआरपीएफ की बस दोनों को वहां से ले जा रही थी तो उनकी बस को रोका नहीं गया. इसके बाद अर्द्धसैनिक बल के जवानों ने पीड़िता की बुजुर्ग मां को चलती बस से कूदने पर मजबूर कर दिया. इस दौरान सीआरपीएफ जवान उन्हें कोहनी मारते हैं. इतना ही नहीं, जिस बस में दोनों को ले जाया जा रहा था, उसमें एक भी महिला सुरक्षाकर्मी मौजूद नहीं थी.










