Bengal Election Violence: मालदा में तृणमूल कांग्रेस के एक कार्यकर्ता की चाकू मारकर हत्या के बाद पश्चिम बंगाल में चुनाव संबंधी हिंसा में मरने वालों की संख्या रविवार सुबह 20 तक पहुंच गई। घटना चुनाव के बाद शनिवार रात बैष्णवनगर में हुई।
सूत्रों के अनुसार, पीड़ित की पहचान मतीउर रहमान के रूप में हुई, जो टीएमसी का सक्रिय कार्यकर्ता था। बताया जा रहा है कि घटना के दौरान मतीउर रहमान मतदान केंद्र पर वोट डालने आया था। इसी दौरान कुछ लोगों ने उसे घेर लिया और चाकू मारकर हत्या कर दी। सत्तारूढ़ टीएमसी ने हत्या के लिए विपक्षी पार्टी कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया है।
दक्षिण 24 परगना में झड़प, टीएमसी के एक कार्यकर्ता की मौत
मारे गए लोगों में 62 साल का एक सक्रिय टीएमसी कार्यकर्ता अज़हर लश्कर भी शामिल है, जो बसंती में एक झड़प में घायल हो गया था। शनिवार देर रात एसएसकेएम अस्पताल में इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। जानकारी के मुताबिक, दक्षिण 24 परगना के बसंती में टीएमसी और रिवोल्यूशनरी सोशलिस्ट पार्टी (आरएसपी) के कार्यकर्ताओं के बीच झड़प हो गई, जिसमें 10 लोग घायल हो गए। गंभीर रूप से घायल अजहर लश्कर की अस्पताल में उस समय मौत हो गई जब उसका इलाज चल रहा था।
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मतदान खत्म होते ही शनिवार ग्रामीण इलाकों में भड़की थी हिंसा
शनिवार को मतदान खत्म होते ही बंगाल के ग्रामीण इलाकों में हिंसा भड़क उठी। कई स्थानों पर मतपेटियों को तोड़ दिया गया और कई गांवों में प्रतिद्वंद्वियों पर बम फेंके गए। हिंसा की घटनाओं ने सत्तारूढ़ टीएमसी और भारतीय जनता पार्टी के बीच तीखी जुबानी जंग छेड़ दी है और पार्टी ने कई बूथों पर दोबारा मतदान कराने की मांग की है।
पश्चिम बंगाल में सभी दलों ने हिंसा के लिए एक-दूसरे पर आरोप लगाए, यहां तक कि भाजपा ने राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की। राज्य चुनाव आयुक्त (एसईसी) राजीव सिन्हा ने शनिवार को पर्यवेक्षकों और रिटर्निंग अधिकारियों से रिपोर्ट प्राप्त करने के बाद वोट से छेड़छाड़ की शिकायतों पर गौर करने और कुछ बूथों पर संभावित पुनर्मतदान पर निर्णय लेने का वादा किया।
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