Shiv Sena (UBT) Protest against Illegal Immigrants in India: अमेरिका से भारत भेजे गए 104 अवैध प्रवासियों का मुद्दा थमने का नाम नहीं ले रहा है। इसी कड़ी में अब भारत में भी अवैध शरणार्थियों को बाहर निकालने की मांग उठ रही है। शिवसेना (यूबीटी) के नेता मनीष साहनी ने हाथ में पोस्टर लेकर भारत सरकार से मांग की है। शिवसेना (यूबीटी) जम्मू कश्मीर ईकाई के प्रमुख मनीष साहनी ने अपने समर्थकों के साथ सीमा हैदर और शेख हसीना समेत रोहिंग्या शरणार्थियों को देश से बाहर निकालने के नारे लगाए हैं।
पोस्टर लेकर लगाए नारे
मनीष साहनी के नेतृत्व में एकत्रित शिव सैनिकों ने “शेख हसीना, सीमा हैदर को वापिस भेजो”, “अवैध रोहिंगियों, बांग्लादेशियों को बाहर निकालो ” लिखे पोस्टर पकड़ जोरदार प्रदर्शन किया। साहनी ने अपने संबोधन में कहा कि बंगलादेश में हिन्दुओं पर हमलों का सिलसिला जारी है। कुछ दिन पहले बंगलादेश की पूर्व राष्ट्रपति शेख हसीना ने लाइव भाषण दिया था। इस दौरान बंगलादेश के राजशाही जिले के फुदकी गांव में हिन्दुओं को निशाना बनाया गया। मंदिर में मौजूद सरस्वती देवी की मूर्ति को तोड़ दिया गया। सत्तांतरण के बाद से बांग्लादेश में हिंदुओं पर हमलों के दौर रुके नहीं हैं।
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इंडो-बांग्लादेश बॉर्डर पर फेंसिंग नहीं
साहनी का कहना है कि भाजपा का रोहिंग्यों व बंग्लादेशियों के खिलाफ हो-हल्ला मात्र चुनावी स्टंट है। बंगलादेश के साथ 36 का आंकड़ा होने के बावजूद आज भी 856 किलोमीटर के करीब इंडो-बांग्लादेश बॉर्डर खुला पड़ा है, जहां फेंसिंग नहीं है। वहीं 2007 में जारी आंकड़ों के अनुसार करीब 1.2 करोड़ अवैध बांग्लादेशी भारत में थे।
शिवसेना की अमेरिका की तरह भारत सरकार से अवैध घुसपैठियों पर सख्त कार्रवाई की मांग।
शेख हसीना, सीमा हैदर समेत 2 करोड़ अवैध बांग्लादेशियों-रोहिंगियों को देश से निकालो#DunkiRoute #AmericaFirst #ILLEGALimmigrants pic.twitter.com/qlTPutREtx
— Sakshi (@sakkshiofficial) February 7, 2025
शेख हसीना और सीमा हैदर को दी पनाह
अनुमानित आंकड़ों के अनुसार आज करीब दो करोड़ बांग्लादेशी भारत में अवैध रूप से रह रहे हैं। बंगलादेश के साथ अपने रिश्तों को ताक पर रख भारत सरकार ने पूर्व राष्ट्रपति शेख हसीना को भारत में पनाह दे रखी है। वहीं पाकिस्तान महिला सीमा हैदर जो करीब दो साल पूर्व अपने चार बच्चों समेत अवैध तरीके से भारत में दाखिल हुई थी, आज अपने पांचवें बच्चे की मां बनने वाली हैं। जबकि अमेरिका बेड़ियां पहनाकर भारतीयों को वापिस भेज रहा है।
सरकार से की मांग
बता दें कि जम्मू-कश्मीर में रोहिंग्याओं की संख्या सरकारी आंकड़ों से कहीं ज्यादा है। इनका बायो मैट्रिक्स डेटा भी पुलिस प्रशासन के पास नहीं है। हाल ही में कश्मीर में महिला तस्करी जैसे कई मामले सामने आए हैं। साहनी ने कहा कि गहन जांच पड़ताल हो तो दर्जनों सीमा हैदर कश्मीर में मिल सकती हैं। साहनी ने केंद्र की मोदी सरकार व जम्मू-कश्मीर समेत तमाम राज्य सरकारों से अपील की है कि वो अमेरिका से सबक लें। रोहिंग्या व अवैध बांग्लादेशियों की पहचान कर राज्य व देश की सीमा से बाहर भेजने के लिए तत्काल व सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए।
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