Cancer Causes: कैंसर एक ऐसी बीमारी है जिसमें शरीर के सेल्स असामान्य तरीके से बढ़ने लगते हैं। यह कोशिकाएं नियंत्रित तरीके से नहीं बढ़तीं और शरीर के किसी हिस्से में जमा हो जाती हैं, तो वहां ट्यूमर यानी गांठ बन जाती है। इसे ही कैंसर सेल कहते हैं। कैंसर एक घातक बीमारी है, इसका इलाज मौजूद है मगर फिर भी लोग इस बीमारी का नाम सुनते ही खौफ में आ जाते हैं। दरअसल, कैंसर को लेकर कई मिथक और फैक्ट ऐसे हैं, जिनके बारे में हमें जानकारी होना जरूरी है। आइए आपको कैंसर एक्सपर्ट डॉक्टर अंशुमन द्वारा बताई गई कुछ ऐसी बातों के बारे में बताते हैं, जो आपको कैंसर के बारे में और ज्यादा जानकारी प्रदान करेंगी।
कैंसर कितना खतरनाक?
डॉक्टर अंशुमन ने न्यूज 18 के साथ एक पॉडकास्ट शो किया है, जिसमें उन्होंने लोगों की लाइफस्टाइल से लेकर घर के अंदर मौजूद चीजों और खान-पान से कैंसर होने या न होने की बातों पर रोशनी डाली है। वे बताते हैं कि कैंसर की बीमारी होने के लिए किसी खास उम्र की आवश्यकता नहीं है। कैंसर का जोखिम हर किसी के शरीर में होता है, लेकिन ये किसे प्रभावित करता है, यह हमारी इम्यूनिटी पर निर्भर करता है। किसी इंसान की रोगों से लड़ने की क्षमता कितनी तेज है या कितनी कम, इस बात की पुष्टि निर्भर करता है कि वह साल में कितनी बार बीमार हो रहा है। अगर कोई तुरंत संक्रमित हो जाता है यानी वह गंभीर रोग से भी आसानी से पीड़ित हो सकता है।
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क्या कहते हैं एक्सपर्ट?
डॉक्टर अंशुमन कहते हैं हर किसी के शरीर में हर दिन कैंसर का सेल डेवलप होता है लेकिन जरूरी नहीं कि उससे कैंसर होगा, क्योंकि हमारे इम्यून सिस्टम की ताकत ही कैंसर के उस सैल के प्रभाव को कम या ज्यादा कर सकती है। इम्यून सिस्टम, हमारे शरीर का डिफेंस सिस्टम है, जो हमारी सुरक्षा करता है। इसलिए हमें अपने इम्यून सिस्टम को स्वस्थ रखने की कोशिश करनी चाहिए, जो कि लाइफस्टाइल हैबिट्स से होगा।
लाइफस्टाइल और कैंसर का संबंध
एक्सपर्ट बताते हैं कि लाइफस्टाइल यानी वो चीजें, जिसमें हमारी नींद, खान-पान और कैसे वातावरण में हम हैं, इसका ख्याल रखना। हम कैसी हवा में सांस ले रहे हैं, यह भी जरूरी है क्योंकि आजकल देश में प्रदूषण की मात्रा बहुत ज्यादा बढ़ गई है, खासतौर पर दिल्ली जैसे बड़े शहरों में।
पॉल्यूशन से कैंसर
एक्सपर्ट के अनुसार, जो लोग सिगरेट नहीं पीते हैं, उन्हें भी कैंसर हो रहा है जिसका कारण प्रदूषण है। डॉक्टर के अनुसार, नॉन स्मोकर्स कैंसर मरीजों में सबसे अधिक प्रभावित महिलाएं हैं। इसलिए, इस बात को दिमाग से निकाल दें कि सिर्फ स्मोकिंग ही लंग कैंसर का जोखिम बढ़ाता है।
मसालों से कैंसर
पॉडकास्ट में पूछे गए एक सवाल, जो कि साबुत मसालों यानी कैंसर से संबंधित था कि क्या मसालों का सेवन भी कैंसर का कारण है, इस पर एक्सपर्ट बताते हैं कि कुछ मसाले जैसे कि कालीमिर्च, लौंग, जिन्हें हम सॉलिड फॉर्म में भी खाते हैं, उनको अगर हम बाजार से साबुत लाकर घर में रोस्ट करके और फिस उसका पाउडर बनाकर खाए, तो इसका लाभ मिलेगा। वहीं अगर हम इन मसालों को पाउडर के रूप में बाजार से पैकेट वाले लेते हैं और सेवन करते हैं, तो वह सेहत के लिए हानिकारक बन जाते हैं क्योंकि पैकेट वाले मसालों में उसमें प्रिजर्वेटिव्स होते हैं।
पानी भी रिस्की?
आरओ वाला पानी भी हानिकारक हो सकता है। जी हां, डॉक्टर अंशुमन के अनुसार, वह जो पानी पीते हैं वह बोरिंग का ही है लेकिन बड़े शहरों के लोग बोरिंग का पानी नहीं पी सकते हैं। दरअसल, इसके पीछे कारण यह है कि गांव के इलाकों में मिलने वाला अंडरग्राउंड वाटर शुद्ध और खनिजों से भरपूर होता है लेकिन शहरों में जो अंडरग्राउंड पानी मिलता है, वह केमिकलयुक्त हो जाता है।
Cancer Awareness क्यों जरूरी?
एक्सपर्ट कहते हैं कि समाज में कैंसर को लेकर कई धारणाएं हैं, जिनमें लोग सही को गलत और गलत को सही समझते हैं। जैसे कि वे कहते हैं कि पानी और मसालों से कैंसर की व्याख्या करते हैं, तो अमूमन लोगों को नहीं पता होगा कि पानी भी सेहत के लिए नुकसानदायक होता है, जो मसाले हमें सर्दी-खांसी से बचाते हैं, वे भी हमें रोगी बना सकते हैं। इन सामान्य बातों के चलते ही लोगों को इस बीमारी के बारे में ज्यादा से ज्यादा जानकारी प्राप्त करने की जरूरत है।
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Disclaimer: ऊपर दी गई जानकारी पर अमल करने से पहले विशेषज्ञों से राय अवश्य लें। News24 की ओर से जानकारी का दावा नहीं किया जा रहा है।