Himachal Pradesh Heavy Rain: पहाड़ी राज्यों में शामिल हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में भारी बारिश, भूस्खलन और बादलों के फटने की घटनाओं ने लोगों के साथ-साथ सरकारों को भी सकते में ला दिया है। उधर, बारिश के कारण आई आपदा ने अब तक 330 लोगों को लील लिया है।
बताया जा रहा है कि अब भी कई लोग लापता हैं, ऐसे में हादसे में जान गंवाने वालों का आंकड़ा बढ़ भी सकता है। इस बीच कुदरत के इस कहर में 7000 करोड़ रुपये से अधिक का नुकसान होने की खबर भी सामने आ रही है, हालांकि आधिकारिक रूप से इस पर अब तक सरकार की ओर से बयान नहीं आया है। इस बीच बारिश को लेकर भी येलो अलर्ट जारी किया गया है। आगामी 3 दिनों तक बारिश होने का पूर्वानुमान जताया गया है।
करीब 2000 घर तबाह, मरने वालों की संख्या बढ़ी
मिली जानकारी के मुताबिक, हिमाचल प्रदेश में बृहस्पतिवार को तीन और मौतों के साथ प्रदेश में जान गंवाने वालों की संख्या 330 हो गई है। इसके अलावा, सूबे में भूस्खलन की बढ़ती घटनाओं से 1957 घर ढह गए हैं। भारी तबाही के बीच प्रदेश में कुल 9344 घरों को आंशिक नुकसान पहुंचा है। इसके अलावा, 293 दुकानें और 4072 गौशाला बाढ़ के पानी में तबाह हो गई हैं।
उधर, भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आइएमडी) ने शुक्रवार को भी मानसून के सामान्य रहने का पूर्वानुमान जारी किया है। आइएमडी के अनुसार, शुक्रवार को कहीं पर भी तेज बारिश की कोई चेतावनी जारी नहीं की गई है। यह अलग बात है कि मौसम विभाग ने 19 अगस्त से 25 अगस्त तक भारी बारिश का येलो अलर्ट जारी किया है।
जानकारों की मानें तो हिमाचल प्रदेश में मानसून के दौरान भारी बारिश होना कोई नई बात नहीं है, लेकिन इस बार बादल फटने और भूस्खलन ने भारी तबाही मचाई और जान और माल का भारी नुकसान हुआ है। प्रदेश में अब तक 113 भूस्खलन की घटनाएं घटीं हैं, जबकि 58 बार बादल फटा है। भूस्खलन के चलते प्रदेश में 650 सड़कें अभी भी बंद हैं।
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