Identification Of Fake e Chalan: गाड़ी ड्राइव करते समय ट्रैफिक और यातायात के नियमों को पालन नहीं करने पर पहले सिर्फ ट्रैफिक पुलिस के पास चालान करने का पूरा अधिकार होता था। अभी यह अधिकार रेड लाइट या सड़क किनारे लगे कैमरों का भी है। दरअसल, रेड लाइट पर लगी है कैमरे ट्रैफिक पुलिस की तरह नजर रखते हैं कि किसने ट्रैफिक रूल्स तोड़े हैं। इसी आधार पर लोगों को ऑनलाइन चालान भेजे जाते हैं, लेकिन क्या आप जानते हैं कि अब ऑनलाइन चालान के नाम पर स्कैम भी हो रहे हैं। जानिए कैसे भेजे जाते हैं फर्जी ई चालान के मैसेज और कैसे लगाया जाता है इसका पता।
पहले जानिए क्या है फेक ई चालान?
फेक ई चालान में भी ई चालान तरह ही मैसेज भेजे जाते हैं। इसमें वाहन मालिकों को मैसेज भेज के जानकारी दी जाती है कि आपने ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन किया है इसी वजह से उन्हें लिंक के जरिए जुर्माना भरना होगा। लोग जैसे ही उसे लिंक पर जाते हैं उन्हें कोई ऐप डाउनलोड करने के लिए कहकर फेक वेबसाइट पर ले जाया जाता है, जिसके बाद तुरंत आपकी जानकारी हैक करके आपके अकाउंट से पैसे उड़ा लिए जाते हैं।
खुद को कैसे रखें सेफ
इन फेक मैसेज से बचने के लिए जरूरी है कि अपना दिमाग खुला रखें।अगर आपके पास भी ऐसा कोई चालान कटने का मैसेज आए तो सबसे पहले चेक करें कि मैसेज पर्सनल नंबर से आया है या फिर कोई आधिकारिक नंबर से। कभी भी मैसेज आते ही बिना चेक किए हुए लिंक पर क्लिक न करें और न ही पेमेंट करें।
फेक ई चालान और चालान में कैसे करें अंतर
फेक ई-चालान से बचने के लिए जरूरी है कि आपको ऑफिशियल वेबसाइट की पहचान हो। इसके अलावा आप चाहें तो https://echallan.parivahan.gov.in/index/accused-challan की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर चेक कर सकते हैं कि सच में आपका चालान कटा है या नहीं।