Budget 2023: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 1 फरवरी को संसद में आम बजट पेश करेगी। इस बजट से आम आदमी से लेकर उद्यमियों तक सभी वर्ग के लोगों को काफी उम्मीदें हैं। इस सबके बीच एक MSME क्षेत्र भी है जो बड़े स्तर पर लोगों को रोजगार उपलब्ध करवाता है। आम बजट से इस क्षेत्र से जुड़े लोगों को भी काफी उम्मीदें हैं।
वित्तीय मदद की है आवश्यकता
MSME क्षेत्र काफी विस्तृत और व्यापक है। ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाएं छोटे-छोटे उद्योग चलाती हैं (Budget 2023) इस लिहाज से इन महिला समूहों वाले MSME इकाईयों को भी वित्तीय मदद की आवश्यकता है। ये MSME समुह गांवों में लोगों को रोजगार उपलब्ध करवाती हैं। वहीं, आसपास के क्षेत्रों में लोगों से जुड़ी उनकी आवश्यकताओं को बहुत ही कम मूल्य पर पूरा करती है।
मुद्रा लोन की सीमा बढाए जाने की उम्मीद
भारत सरकार द्वारा इस क्षेत्र के लोगों को मुद्रा योजना के तहत लोन (Budget 2023) उपलब्ध कराए जा रहे हैं लेकिन ये नाकाफी है। क्योंकि इस योजना के तहत दिए जाने वाले लोन की सीमा 10 लाख तक होती है। बजट में इसे बढाए जाने की उम्मीद है। ऐसा करने से एमएसएमई सेक्टर की वित्तीय आवश्यकताएं पूरी होगी। विशेषज्ञों की मानें तो वित्त मंत्री मददगार नीतियों की घोषणा कर सकती हैं।
क्रेडिट गांरटी स्कीम को आगे बढाने की जरूरत
इसके साथ ही इस बार के बजट में छोटे कारोबारों को क्रेडिट सपोर्ट की जरूरत है। इसके लिए इमरजेंसी क्रेडिट लाइन गांरटी स्कीम को आगे बढ़ाए जाने की काफी जरूरत है, जो कि मार्च 2023 में खत्म होने जा रही है। इसके साथ-साथ सरकार को सुरक्षित व असुरक्षित लोन के लिए वर्गीकरण, लोन जारी करने की समय सीमा, दस्तावेजों की जरूरत और लोन की रकम के लिए क्लियर गाइडलाइन भी होनी चाहिए।
पीएलआई स्कीम को मिले बढावा
वहीं इस सेक्टर की मदद के लिए पीएलआई स्कीम को भी बढ़ाए जाने की मांग विशेषज्ञों ने की है। उनका कहना है कि उत्पाद से जुड़ी प्रोत्साहन योजना का विस्तार बजट 2023 में किया जाए तो इससे निर्यात को और बढ़ावा मिल सकता है। इस योजना के विस्तार से भी एमएसएमई सेक्टर बहुत लाभ मिलने वाला है।
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