ACC-Ambuja brand merger: अडानी समूह ने स्पष्ट किया है कि वह एसीसी और अंबुजा सीमेंट ब्रांडों को अलग-अलग संस्थाओं के रूप में उपयोग करना जारी रखेगा और दोनों को विलय करने की कोई योजना नहीं है, यह स्पष्टीकरण दोनों सीमेंट कंपनियों के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अजय कपूर ने एक वार्षिक शेयरधारक बैठक में दिया था।
इससे पहले कुछ मीडिया रिपोर्टों के अनुसार अडानी समूह 2022 में स्विट्जरलैंड के होल्सिम से अधिग्रहण के बाद अंबुजा और एसीसी सीमेंट इकाई दोनों का विलय करना चाह रहा था। बता दें कि अल्ट्राटेक सीमेंट के बाद सीमेंट उत्पादन क्षमता के लिहाज से अडानी ग्रुप इस समय देश में दूसरे नंबर पर है।
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कपूर ने विनिर्माण और लॉजिस्टिक्स प्रक्रियाओं को सुव्यवस्थित करके उत्पादन लागत को कम करने के प्रयासों की ओर इशारा करते हुए कहा, ‘हम अगले 24 महीनों में सीमेंट व्यवसाय के ईबीआईटीडीए मार्जिन में 400-450 रुपये प्रति टन का सुधार करना चाहते हैं।’ समाचार एजेंसी रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार कपूर ने कहा कि एसीसी अगले दो से पांच वर्षों में 16 मिलियन टन नई क्षमता जोड़ने पर विचार कर रही है क्योंकि भारत की सीमेंट मांग 7-8% की दर से बढ़ रही है।
कपूर ने कहा, ‘इन पुराने ब्रांडों के उपयोग में कोई रुकावट नहीं होने जा रही है।’ हालांकि, अमेरिकी शॉर्ट-सेलर रिपोर्ट के बाद अडानी समूह की कंपनियों के शेयरों में गिरावट के बाद दोनों कंपनियों के शेयर अभी भी अपने जनवरी के स्तर से नीचे कारोबार कर रहे हैं। अंबुजा और एसीसी अब तक क्रमशः 15.7% और 23% नीचे हैं।