Chausath Yogini Temple: भारत देश स्थित एक ऐसा मंदिर जहां आज भी देश दुनिया के लोग तांत्रिक क्रियाओं को सीखने के लिए आते रहते हैं। ऐसी मान्यता है कि इस स्थान पर तांत्रिक विद्या जल्द ही सिद्धि हो जाती है। यह मंदिर छतरपुर जिले के खजुराहो में स्थित चंदेल कालीन चौसठ योगिनी मंदिर है। कहा जाता है कि इस मंदिर में लोग तांत्रिक विद्या सीखने के लिए आते हैं। इस मंदिर में दिलचस्प इस बात की है कि यहां आते ही भारतीय संसद में होने का अहसास होता है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, इस मंदिर में लोग चौसठ देवियां एक साथ तांत्रिक विद्या सिद्ध करते हैं। ऐसी मान्यता है कि इस मंदिर में तांत्रिक विद्या सिद्ध करने वाले लोग काफी प्रभावी होते हैं।
चौसठ योगिनी मंदिर में दूर से आते हैं लोग
खजुराहो में वैसे तो देश-विदेश के लोग घूमने के लिए आते हैं, लेकिन इस स्थान पर तांत्रिक विद्या सीखने के लिए लोग देश-विदेश के लोग बहुत ही बड़ी संख्या में आते हैं। चौसठ योगिनी मंदिर में सुबह से लेकर शाम तक तांत्रिक विद्या को सिद्ध करने के लिए लोगों दिखते रहते हैं। इस मंदिर में तांत्रिक विद्या जानने वाले कई विदेशी लोग भी आते हैं।
यह भी पढ़ें- अनंत चतुर्दशी के दिन इस विधि से करें बप्पा का विसर्जन, गणपति जाते-जाते भी संवार देंगे तकदीर
चौसठ योगिनी मंदिर का इतिहास
इस मंदिर के इतिहास के बारे में बताया जाता है कि चंदेल कालीन मंदिर खजुराहो का सबसे पुराना और प्राचीन मंदिर हैं।
मंदिर का निर्माण का इतिहास
मान्यता है कि इस मंदिर का निर्माण नवमी शताब्दी में चंदेल कालीन राजाओं ने कराया था। इस मंदिर का बनावट आयताकार है। कहा जाता है कि यह मंदिर इतनी बड़ी थी कि इसमें 67 छोटे-छोटे मंदिर होते थे। अभी वर्तमान समय में इस मंदिर में सिर्फ 35 मंदिर ही ठीक अवस्था में हैं।
यह भी पढ़ें- अनंत चतुर्दशी पर भगवान विष्णु के किस स्वरूप की होती है पूजा? जानिए शुभ मुहूर्त और महत्व
डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है। किसी भी उपाय को करने से पहले संबंधित विषय के एक्सपर्ट से सलाह अवश्य लें।