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भूकंप प्रभावित म्यांमार को भारत से मिल रही भरपूर मदद; जानें क्या है ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’

म्यांमार में एक के बाद एक भूकंप झटकों से चारों तरफ तबाही ही तबाही दिख ही रही है। ऐसे मुश्किल समय में भारत ने म्यांमार की तरफ मदद का हाथ आगे बढ़ाया है। भारत ने म्यांमार को मदद पहुंचाने के लिए 'ऑपरेशन ब्रह्मा' किया है। क्या आप जानते हैं इस राहत मिशन का नाम 'ऑपरेशन ब्रह्मा' क्यों हैं?

Author Edited By : Pooja Mishra Updated: Mar 30, 2025 07:15
Earthquake-Hit Myanmar India Operation Brahma

भारत के पड़ोसी देश म्यांमार में इस समय भूकंप ने तबाही मचा रखी है। म्यांमार में 24 घंटों में 16 बार भूकंप के झटके लगे हैं। पूरे देश में चारों तरफ विनाश और तबाही दिख रही है। इस तबाही में 1600 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई है। वहीं, 2000 से ज्यादा लोग घायल है। म्यांमार के इस मुश्किल समय में भारत की तरफ से मदद के हाथ आगे बढ़ाए गए हैं। म्यांमार में भूकंप आने के बाद भारत की तरफ से 15 टन राहत सामग्री पहुंचाई गई। इसके अलावा भारतीय थल सेना और वायुसेना अलर्ट मोड में हैं और सहायता में जुटे हुए हैं। म्यांमार की मदद करने के लिए भारत ने ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ शुरू किया है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि भारत सरकार ने इस अभियान का नाम ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ क्यों रखा है? चलिए जानते हैं…

म्यांमार को भारत से मिल रही मदद

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने शनिवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की, जिसमें उन्होंने कहा कि ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ के तहत भारत की तरफ से 15 टन राहत सामग्री के साथ पहला विमान हिंडन वायुसेना अड्डे से सुबह करीब 3 बजे रवाना हुआ और सुबह करीब 8 बजे यांगून पहुंचा। वहां मौजूद भारतीय राजदूत ने राहत सामग्री को रिसीव किया और उसे यांगून के मुख्यमंत्री को सौंप दिया। इसके बाद खोज और बचाव कर्मियों, उपकरणों और कुत्तों को लेकर 2 विमान भारत से रवाना हुए।

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राहत मिशन का नाम ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ क्यों?

इसी प्रेस कॉन्फ्रेंस में रणधीर जायसवाल ने बताया कि म्यांमार में भारत के राहत मिशन का नाम ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ क्यों रखा गया। उन्होंने कहा कि भारत ने ऑपरेशन ब्रह्मा की शुरुआत की है। म्यांमार में भारत के राहत अभियान का नाम भगवान ब्रह्मा के नाम पर रखा गया है। ब्रह्मा सृजन के देवता हैं, ऐसे समय में हम म्यांमार सरकार और म्यांमार के लोगों को तबाही के बाद अपने देश के पुनर्निर्माण में मदद का हाथ बढ़ा रहे हैं। ऑपरेशन के इस खास नाम का एक खास मतलब है।

म्यांमार पहुंची 118 सत्रुजीत कैडेट

भारत की तरफ से ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ के तहत शनिवार को 15 टन राहत सामग्री पहुंचाई गई। इसमें भारतीय वायु सेना की आपूर्ति में टेंट, स्लीपिंग बैग, कंबल, खाने के लिए तैयार भोजन, वाटर प्यूरीफायर, सोलर लैंप, जनरेटर सेट और कुछ जरूरी दवाएं शामिल थीं। न्यूज़ 24 से बात करते हुए मेजर जनरल वी. शारदा ने बताया कि लेफ्टिनेंट कर्नल जगनीत गिल के नेतृत्व में लगातार म्यांमार के हालातों की निगरानी की जा रही है। इसके अलावा 118 सत्रुजीत कैडेट को सहायता के लिए भेजा गया है।

यह भी पढ़ें: म्यांमार में फिर आया भूकंप, कांप उठी धरती; 24 घंटे में 16 बार लगे झटके

क्या हैं सत्रुजीत कैडेट?

बता दें कि भारतीय थल सेना का सत्रुजीत वह दल है जो किसी भी परिस्थितियों में हजारों फीट की ऊंचाई से विमान से पैराशूट के जरिए सटीक उसी जगह पर उतरकर मदद के लिए तैनात हो सकते हैं, जहां पर कोई फंसा हो या फिर कोई मदद के लिए पुकार रहा हो। सत्रुजीत कमांडो को यह स्पेशल ट्रेनिंग आगरा कैंट में 6 महीने तक दी जाती है।

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Pooja Mishra

First published on: Mar 30, 2025 07:15 AM

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