UP News: उत्तर प्रदेश (UP News) के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi) ने कहा है कि किसान खेती के अलावा आय का स्रोत तलाशकर अपनी आमदनी को दोगुना कर सकते हैं। पीएम मोदी के आह्वान पर किसानों की आय को दोगुना करने के लिए सरकार उनके साथ खड़ी है।
सीएम ने कहा कि खेती के साथ खेत के मेड़ पर शहतूत उगाकर उसके माध्यम से रेशम तैयार करके किसान अपनी आय बढ़ा सकते हैं। उन्होंने कहा कि रेशम उत्पादन के लिए नेपाल का तराई क्षेत्र भौगोलिक दृष्टि से काफी अनुकूल है। उन्होंने कहा कि रेशम का उत्पादन पिछले 20 वर्ष 15 गुना बढ़ा है, जबकि अगले 4 वर्ष में इसे 20 गुना तक बढ़ाकर 3500 टन तक ले जाने का लक्ष्य है।
इतने करोड़ की लागत से बनाए 18 चाकी कीट भवन
गोरखपुर के रामगढ़ताल स्थित योगीराज बाबा गंभीरनाथ प्रेक्षागृह में रेशम निदेशालय यूपी एवं अनुसंधान प्रसार केंद्र और केंद्रीय रेशम बोर्ड वस्त्र, मंत्रालय भारत सरकार की आरे से रेशम कृषि मेले का लोकार्पण करने के बाद सीएम योगी ने किसानों को संबोधित किया। इस दौरान यूपी के अलग-अलग जिलों में बने 11.38 करोड़ की लागत से 18 चाकी कीट भवन, 36 सामुदायिक भवन और मशीन शेड का लोकार्पण व शिलान्यास किया गया।
आने वाले 05 वर्षों में 3.5 हजार टन रेशम उत्पादन की दिशा में हमें अपने अन्नदाता किसानों को तैयार करना होगा: #UPCM @myogiadityanath pic.twitter.com/t3oQfGdPIr
---विज्ञापन---— CM Office, GoUP (@CMOfficeUP) March 30, 2023
10 लाभार्थियों को बांटे अनुदान राशि के चेक
इस मौके पर उन्होंने प्रदेश के विभिन्न जिलों से आए रेशम कीट पालन के लिए 10 लाभार्थियों को अनुदान राशि का चेक भेंट दिया। किसानों को संबोधित करते समय सीएम ने सभी को रामनवमी की शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा कि रेशम मेले का आज शुभारंभ किया गया है। कहा कि हमारा फर्ज है, समाज के हर तबके तक लाभ पहुंचे।
यूपी में हैं नौ क्लाइमेट जोन
सीएम ने कहा कि देशभर की 11 से 12 फीसदी भूमि हमारे पास है। देश के लिए 20 फीसदी से ज्यादा अन्न का उत्पादन हमारे सामर्थ्य को प्रदर्शित करता है। हमारे यूपी में 9 क्लाइमेट जोन है। अलग-अलग क्लाइमेट जोन में हमारे अन्नदाता फसल उगाते हैं। अन्नदाताओं की आय को बढ़ाने की बात पीएम मोदी ने की थी। सीएम ने कहा कि खेती के साथ किसान अपनी आय बढ़ाने का काम काम मेड़ पर रेशम के लिए शहतूत लगाने से कर सकता है।
इन जिलों में रेशम उत्पादन की अपार संभावनाएं
मुख्यमंत्री ने कहा कि हिन्दू परिवार रेशम की साड़ी में बेटी को विदा करता है। उस बाजार के लिए रेशम का उत्पादन करना है। वन डिस्ट्रिक वन प्रोडक्ट के माध्यम से देश के अग्रणी राज्य में यूपी को शामिल करने का सरकार को प्रयास करना है।
रेशम उत्पादन के क्लाइमेटिक जोन को चिह्नित करना है। नेपाल के तराई से सटी यूपी की जमीन उपयोगी है। 600 टन रेशम का उत्पादन इस क्षेत्र में किया जा सकता है। वाराणसी, आजमगढ़, गोरखपुर में अच्छा क्लस्टर है। यहां बाजार पूरी तरह से तैयार है।
4 साल में रेशम का उत्पादन 35 सौ टन करना है
सीएम ने कहा कि हम दुनिया और खासकर चीन से आने वाले रेशम को रोक सकते हैं। नवाचार और इनोवेशन को पहचानना होगा। रेशम उत्पादन के माध्यम से अच्छी आमदनी भी की जा सकती है। सीएम ने कहा कि लखनऊ में मेगा टेक्सटाइल पार्क बनने जा रहा है।
ये आपके लिए अच्छा मौका है। जिन भवनों का शिलान्यास हो रहा है, उनका निर्माण समय से पूरे होंगे। वहां किसानों को ट्रेनिंग की सुविधा दी जाएगी। सीएम ने कहा कि रेशम के उत्पादन को अगले 4 साल में 20 गुना यानी 3500 टन उत्पादन कर पहुंचाना है।
ये मंत्री और अधिकारी भी रहे मौजूद
इस मौके पर यूपी के रेशम एवं वस्त्र उद्योग मंत्री राकेश सचान ने भी किसानों को दक्षिण भारत में निःशुल्क ट्रेनिंग लेने के लिए आगे आने का आह्वान किया। उन्होंने किसानों को बताया कि वे किस तरह से रेशम उत्पादन से अपनी आय को बढ़ाने के साथ परिवार को भी संबल दे सकते हैं।
इस मौके पर अपर मुख्य सचिव लघु एवं मध्यम उद्यम, खादी एवं ग्रामोद्योग डा. नवनीत सहगल ने भी किसानों को प्रोत्साहित किया। उन्होंने किसानों को बताया कि सरकार इस क्षेत्र में क्या काम कर रही है। कार्यक्रम में जिला पंचायत अध्यक्ष साधना सिंह, भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष डा. धर्मेन्द्र सिंह, विधायकगण के साथ अन्य गणमान्य लोग उपस्थित रहे।