IPS Prabhakar Chaudhary: उत्तर प्रदेश के आईपीएस अधिकारी प्रभाकर चौधरी (IPS Prabhakar Chaudhary) एक बार फिर से सुर्खियों में हैं। ताजा मामला बरेली में बवाल के बाद कांवड़ियों पर हुए लाठीचार्ज को लेकर है। लाठीचार्ज के कुछ घंटे बाद ही आईपीएस प्रभाकर चौधरी का तबादला कर दिया गया। बताया गया है कि 13 साल में प्रभाकर चौधरी के 20 तबादले हो चुके थे, जबकि ये उनका 21वां तबादला था। इस मामले में अब उनके पिता का बयान सामने आया है।
13 साल में हुए 21 तबादले
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, 13 साल की सर्विस के दौरान आईपीएस प्रभाकर चौधरी के 21 तबादलों पर उनके पिता पारस नाथ भड़क गए हैं। उन्होंने ऐलान कर दिया है कि वे अब भाजपा के खिलाफ रहेंगे। एक मीडिया रिपोर्ट में पारस नाथ की ओर से कहा गया है कि मेरे आईपीएस बेटे को ईमानदारी की सजा मिलती है। इसी के कारण उनका तबादला होता है।
पिता पारस नाथ ने लगाए ये आरोप
आईपीएस बेटे के समर्थन में पारस नाथ ने कहा है कि प्रभाकर किसी भी नेता से नजदीकी नहीं रखते हैं। वे अपने काम को पूरी ईमानदारी से करते हैं। उनके लिए जो गलत है, वो हर हाल में गलत ही है। इसीलिए उनका कुछ ही महीनों में तबादला कर दिया जाता है। बता दें कि प्रभाकर चौधरी 2010 बैच के आईपीएस अधिकारी हैं। उन्होंने अपने पहले ही प्रयास में सिविल सर्विस की परीक्षा पास की थी।
15 जिलों के रहे कप्तान
आईपीएस प्रभाकर चौधरी अपने 13 साल की सर्विस में 15 से ज्यादा जिलों के कप्तान रह चुके हैं। मथुरा में एसएसपी रहते हुए भी प्रभाकर चौधरी का कथित तौर पर एक भाजपा नेता से विवाद हुआ था। तैनाती के तीन माह बाद ही उनका तबादला कर दिया गया था। इसके बाद सीतापुर में कप्तान करते हुए एक बैठक के दौरान उनका वकीलों से जमकर विवाद हुआ था। सोशल मीडिया पर इसके वीडियो भी वायरल हुए थे।
बरेली में हुआ था कांवड़ियों पर लाठीचार्ज
ताजा घटनाक्रम के अनुसार, बरेली में कांवड़ यात्रा के दौरान हुए बवाल के बाद कांवड़ियों पर लाठीचार्ज हुआ था। जैसे ही ये घटना सोशल मीडिया पर वायरल हुई वैसे ही शासन की ओर से बरेली के कप्तान प्रभाकर चौधरी को हटा दिया गया। अब ये मामला भी मीडिया में सुर्खियां बना हुआ है।