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Exclusive: ‘राजस्थान में स्मार्ट मीटर अनिवार्य, आगे प्रीपेड मीटर की तैयारी’, ऊर्जा मंत्री हीरालाल ने बताया प्लान

Rajasthan News: राजस्थान में स्मार्ट मीटर पर चल रहे विवाद पर ऊर्जा मंत्री ने साफ किया है कि स्मार्ट मीटर लगाना अनिवार्य होगा। प्रदेश के ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर ने न्यूज 24 एक्सलुसिव बातचीत की। पढ़िए मंत्री ने प्रीपेड मीटर पर क्या कहा?

Author Written By: News24 हिंदी Author Edited By : News24 हिंदी Updated: Jul 15, 2025 18:09

Rajasthan News: राजस्थान में कांग्रेस लगातार स्मार्ट मीटर का विरोध कर रही है। वहीं सत्ता पक्ष स्मार्ट मीटर के पक्ष में फायदे बता रही है। हाल ही में कांग्रेस नेता प्रताप सिंह खाचरियावास ने जयपुर में अपने आवास से हनुमान मंदिर तक नंगे पैर पद यात्रा कर स्मार्ट मीटर का विरोध किया था। न्यूज 24 से बातचीत में सूबे के ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर ने स्मार्ट मीटर योजना को लेकर उठ रहे सवालों को निराधार बताया है। ऊर्जा मंत्री ने कहा कि स्मार्ट मीटर से न केवल बिजली वितरण की गुणवत्ता में सुधार होगा, बल्कि बिजली की दरें तय करने, उपभोक्ताओं के बिजली खर्च में पारदर्शिता और बचत में भी मदद मिलेगी।

प्री पेड मीटर की तरफ बढ़ेंगे- मंत्री

मंत्री नागर ने स्पष्ट किया कि राज्य में सभी उपभोक्ताओं के लिए स्मार्ट मीटर लगाना अनिवार्य होगा। आने वाले समय में सरकार प्रीपेड बिजली की व्यवस्था लागू करेगी, जिससे उपभोक्ताओं को पहले से भुगतान कर बिजली उपयोग का विकल्प मिलेगा। साथ ही मंत्री ने आश्वस्त किया कि 100 यूनिट फ्री बिजली वाली योजना पहले की तरह जारी रहेगी।

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कांग्रेस सरकार ने ही शुरू की, अब वही कर रहे विरोध

मंत्री नागर ने कहा कि स्मार्ट मीटर की योजना गहलोत सरकार में शुरू हुई थी, जिसे वर्तमान सरकार आगे बढ़ा रही है। कांग्रेस सरकार ने ही 5.5 लाख से ज्यादा स्मार्ट मीटर लगवाए थे। अब कांग्रेस का इसका विरोध करना जनता को गुमराह करने जैसा है। जनहित के मुद्दों पर राजनीति नहीं होनी चाहिए। मंत्री नागर ने विपक्ष को घेरते हुए सवाल उठाया कि अगर कांग्रेस को इस योजना पर आपत्ति थी तो उन्होंने अपने कार्यकाल में इसका विरोध क्यों नहीं किया? हीरालाल नागर ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत स्वयं कहते रहे हैं कि जनकल्याण की नीतियों में राजनीति नहीं आनी चाहिए। हम भी इसी भावना के साथ काम कर रहे हैं।

क्या है स्मार्ट मीटर योजना?

योजना पर जानकारी देते हुए ऊर्जा मंत्री हीरालाल ने बताया कि अजमेर डिस्कॉम ने 15 जुलाई 2019 को कार्य शुरू किया था। जोधपुर में 1 अगस्त 2019 को EESL को IPDS योजना के तहत कार्यादेश दिए गए। वित्तीय वर्ष 2023-24 में जयपुर में 18,236 स्मार्ट मीटर लगाए गए। साल 2018 से 2023 के बीच हुई अव्यवस्थाओं के कारण डिस्कॉम पर 88,000 करोड़ रुपये का भार पड़ा। भारत सरकार ने डिस्कॉम के घाटे को कम करने के लिए स्मार्ट मीटर योजना को मंजूरी दी थी।

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3.48 लाख मीटर लग चुके

पिछली गहलोत सरकार ने ही 16 जनवरी 2023 को स्मार्ट मीटर लगाने के लिए 10 टेंडर जारी किए थे। इनमें से 4 टेंडर केवल जयपुर के लिए थे। सभी अनुबंध 10 वर्षों के लिए तय किए गए थे। ऊर्जा मंत्री ने कहा कि जयपुर डिस्कॉम में 1,89,613, जोधपुर में 51,700 और अजमेर डिस्काम में अब तक 1,52,000 स्मार्ट मीटर लगाए जा चुके हैं। इसे मिलाकर अब तक प्रदेश में 3,48,000 से अधिक स्मार्ट मीटर लगाए जा चुके हैं।

बेनीवाल ने सेटलमेंट की कोई प्रक्रिया नहीं की- मंत्री

नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल के घर का बिजली कनेक्शन काटने के सवाल पर ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर ने जवाब दिया कि उनका बिजली बिल लंबे समय से बकाया था। बेनीवाल ने सेटलमेंट की कोई आधिकारिक प्रक्रिया नहीं थी। इसलिए, नियमानुसार बकाया राशि वसूलने के लिए उनका कनेक्शन काटा गया।

 

 

First published on: Jul 15, 2025 06:09 PM

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