Mumbai Crime News: महाराष्ट्र के मुंबई से एक हैरान कर देने वाली खबर सामने आई है। यहां एक महिला ने अपने रिस्तों के साथ ही धोखा कर दिया। धोखा भी छोटा-मोटा नहीं हैं, बल्कि पूरा 100 करोड़ रुपये का है। जांच में सामने आया है कि महिला ने अपने चचेरे भाई-बहनों की मुंबई की प्राइम लोकेशन पर मौजूद बेशकीमती जमीन को चोरी छिपे एक डेवलपर को बेच दिया। मामला सामने आने पर पुलिस ने जांच शुरू कर दी है।
बिजनेस हब है ये इलाका
न्यूज साइट टीओआई की एक रिपोर्ट के अनुसार, पुलिस अब मामले में महिला के अन्य रिश्तेदारों की संलिप्तता की जांच कर रही है। 2 एकड़ से ज्यादा की संपत्ति प्राइम सेंट्रल मुंबई में है। यहां तीन किराएदार इमारत में रहते हैं। ईओडब्ल्यू की जनरल चीटिंग सेल ने कर्नाटक के मैसूर में रहने वाली एक महिला को गिरफ्तार किया है। उसे पिछले हफ्ते 47वीं मेट्रोपॉलिटन कोर्ट में पेश किया गया, जिसके बाद उसे न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।
इन दो भाइयों की है संपत्ति
पुलिस ने बताया कि मामले में शिकायतकर्ता महिला का चचेरा भाई है। बताया गया है कि यह बड़ी संपत्ति पीड़ित के दिवंगत पिता और उनके भाई (चाचा) के नाम पर संयुक्त रूप से है। इसमें तीन सीटीएस नंबर शामिल हैं। ये संपत्ति लोअर परेल में डेलाई रोड पर सेंट्रल मुंबई में बेहद प्रमुख स्थान पर है। इस स्थान को बिजनेस हब भी कहा जाता है।
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ये हैं सारे भाई-बहन
इस इमारत में कई किराएदार भी रहते हैं, जो नियमित रूप से लतीफ के परिवार को मासिक किराया देते रहे हैं और संपत्तिधारक का सबसे बड़ा बेटा अजीज (74) इन संपत्तियों के रखरखाव और अन्य मुद्दों को संभालता था। लतीफ के तीन भाई और दो बहनें (अजीज, रहीम, अमीना, आबिदा और मलिक) हैं। दूसरी ओर, जाफर के परिवार में फरजाना, रुखशाना, रेहाना, अमीन, अनवर, महजबीन और अयाज हैं, जिन्होंने इस मामले की शिकायतक की है।
कार्यालय में दिया झूठा घोषणापत्र
अयाज को हाल ही में पता चला कि लतीफ और उसके परिवार ने कथित तौर पर उनकी जानकारी के बिना पुराने सीमा शुल्क कार्यालय के संयुक्त उप रजिस्ट्रार के कार्यालय में दस्तावेजों को पंजीकृत करके तीनों परिसरों के 100% स्वामित्व की झूठी घोषणा तैयार की। इसके बाद एक डेवलपर्स के साथ एक समझौते पर हस्ताक्षर किए। अयाज ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया, इस प्रकार उन्होंने उनके शेयरों को धोखा दिया।
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